Radha Kishan Damani ने शेयर मार्केट में ट्रेडिंग की जानकारी चंद्रकांत संपत से हासिल की. यही वजह है कि दमानी आज भी चंद्रकांत संपत को अपना गुरू मानते हैं.
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नई दिल्लीः हम सभी लोग मानते हैं कि सफलता के लिए उच्च शिक्षा पाना जरूरी है. तभी हमारे देश में युवा आईआईटी, आईआईएम, इंजीनियरिंग और डॉक्टर बनना चाहते हैं लेकिन क्या उच्च शिक्षा ही सफलता की गारंटी है? आज हम ऐसे बिजनेसमैन के बारे में आपको बता रहे हैं, जिन्होंने उक्त मान्यता को झूठा साबित कर दिया है. जी हां वह सिर्फ 12वीं पास हैं और आज वह करीब 70 हजार करोड़ रुपए की संपत्ति के मालिक हैं. हम बात कर रहे हैं रिटेल चेन डी-मार्ट के मालिक राधाकिशन दमानी (Radha Kishan Damani) के बारे में, जिनका नाम देश के टॉप-20 अरबपतियों में शुमार हैं.
कैसे हुई सफर की शुरूआत
राधा किशन दमानी का जन्म राजस्थान के बीकानेर में एक मारवाड़ी परिवार में 1960 में हुआ था. उनके पिता का एक छोटा सा व्यापार था. राधा किशन दमानी के भी इरादे उस वक्त कोई बहुत ज्यादा महत्वकांक्षी नहीं थे लेकिन उनके पिता की असमय मौत से उन्हें बड़ा सदमा लगा. यहीं से दमानी ने जीवन में कुछ करने का लक्ष्य तय किया और बॉल बीयरिंग का छोटा सा बिजनेस शुरू किया.
स्टॉक मार्केट में हुआ रुझान
व्यापार करते हुए ही राधा किशन दमानी का रुझान शेयर मार्केट की तरफ हुआ. हालांकि शेयर मार्केट की कोई जानकारी नहीं होने के चलते दमानी ने धीरे-धीरे शेयर मार्केट में अपने कदम बढ़ाए. इस बीच दमानी की मुलाकात चंद्रकांत संपत से हुई, जिनसे दमानी ने शेयर मार्केट में ट्रेडिंग की जानकारी हासिल की. दमानी आज भी चंद्रकांत संपत को अपना गुरू मानते हैं. उल्लेखनीय है कि राधा किशन दमानी ने जब पहली बार शेयर मार्केट में निवेश किया था, उस वक्त उनकी उम्र 32 साल थी.
शेयर मार्केट के 'सचिन तेंदुलकर'
दमानी को शेयर मार्केट का सचिन तेंदुलकर माना जाता है. 1992 में शेयर मार्केट में स्टॉक ब्रोकर के तौर पर रजिस्ट्रेशन कराने के बाद राधा किशन दमानी को शुरूआत में काफी नुकसान उठाना पड़ा. इसके बाद ज्यादा जानकारी हासिल कर दमानी ने मुनाफा कमाना शुरू किया. दमानी शेयर मार्केट में लंबे समय के लिए निवेश करने का फायदेमंद मानते हैं. यही वजह है कि साल 1995 में दमानी एचडीएफसी बैंक के सबसे बड़े शेयर होल्डर थे.
इसके बाद दमानी ने कई अन्य एमएनसी कंपनियों में निवेश किया और 80 और 90 के दशक में देश के टॉप निवेशक रहे. जिस वक्त हर्षद मेहता के घोटाले से शेयर मार्केट हिल गया था, उस वक्त राधा किशन दमानी को भी नुकसान उठाना पड़ा था लेकिन बाद में दमानी ने शेयर मार्केट से खूब पैसा बनाया.
रिटेल इंडस्ट्री का बड़ा नाम
शेयर मार्केट से काफी पैसा कमाने के बाद राधा किशन दमानी ने रिटेल बिजनेस में कदम रखा. दमानी ने अपना पहला रिटेल स्टोर नवी मुंबई के नेरुल इलाके में अपना बाजार के नाम से खोला. साल 2002 में दमानी ने अपना बाजार को डी-मार्ट नाम दिया. जो कि आज देश में रिटेल इंडस्ट्री का बड़ा नाम बन चुका है. राधा किशन दमानी हमेशा सफेद पैंट शर्ट पहनना पसंद करते हैं. यही वजह है कि उन्हें 'मिस्टर व्हाइट' भी कहा जाता है. दमानी काफी शांत स्वभाव के हैं और मीडिया की चमक दमक से दूर रहते हैं. यही वजह है कि उन्हें सार्वजनिक कार्यक्रमों में कम ही देखा जाता है.
डी-मार्ट की सफलता का राज क्या है?
देश के रिटेल बिजनेस में काफी कंप्टीशन है लेकिन डी-मार्ट अभी तक काफी सफल रहा है और तेजी से ग्रोथ कर रहा है. इसकी वजह है कि दमानी मुनाफे पर जोर देते हैं. यही वजह है कि वह एक स्टोर के मुनाफे से ही दूसरा स्टोर खोलते हैं और साथ ही स्टोर खोलने से पहले जमीन खरीदते हैं और फिर वहां स्टोर बनाते हैं. इससे उन्हें जमीन के लिए किराया देने की जरूरत नहीं पड़ती और उनकी लागत कम हो जाती है. यही वजह है कि दमानी ने देश भर में डी-मार्ट के स्टोर धड़ाधड़ नहीं खोले हैं और वह धीरे-धीरे रिटेल बिजेनस में अपनी पकड़ मजबूत करते जा रहे हैं. यही वजह है कि आज डी मार्ट देश में रिटेल सेक्टर का तीसरा सबसे बड़ा ब्रांड है.
डी मार्ट का मार्केट कैप 2 लाख करोड़ के पार
डी मार्ट रिटेल चेन का संचालन एवेन्यू सुपरमार्ट्स लिमिटेड नामक कंपनी करती है, जिसका मार्केट कैप बढ़कर 2 लाख करोड़ के पार चला गया है. बता दें कि मार्केट कैप के मामले में अभी रिलायंस देश की सबसे बड़ी कंपनी है, जिसका मार्केट कैप करीब 12 लाख करोड़ है. इसके बाद टीसीएस, एचडीएफसी आदि कंपनियों का नाम है. इस तरह डी मार्ट भी अब मार्केट कैप के मामले में देश की दिग्गज कंपनियों की कतार में शामिल हो गई है.