यहां सड़क किनारे नहीं मिलेगा नॉनवेज खाना, जानें कहा-कहां लागू है ये नियम
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यहां सड़क किनारे नहीं मिलेगा नॉनवेज खाना, जानें कहा-कहां लागू है ये नियम

Non-veg stalls ban from main roads of Ahmedabad: अहमदाबाद निगम (AMC) की टाउन प्लानिंग कमेटी के फैसले के मुताबिक सार्वजनिक सड़कों पर नॉनवेज खाने का सामान बेचने पर रोक लगा दी गई है. अब स्कूल और धार्मिक स्थलों के 100 मीटर के दायरे में ये सामान नहीं बेचे जा सकेंगे.

फाइल फोटो

अहमदाबाद: गुजरात (Gujarat) में अहमदाबाद नगर निगम (AMC) ने बड़ा फैसला लिया है. इसके तहत आज से सार्वजनिक सड़कों के किनारे ठेलों पर नॉनवेज खाने का सामान बेचने पर बैन (Ban on Roadside Nonvej) लगा दिया है.

  1. 'सड़क किनारे नॉनवेज की मनाही'
  2. इन जगहों पर बिल्कुल भी छूट नहीं
  3. नगर निगम ने लागू किया है फैसला

टाउन प्लानिंग कमेटी का फैसला

न्यूज एजेंसी एएनआई के मुताबिक, 'सार्वजनिक सड़कों पर नॉनवेज खाने का सामान बेचने पर रोक लगा दी गई है. इसके तहत स्कूलों, कॉलेजों और धार्मिक स्थलों के 100 मीटर के दायरे में ये सामान नहीं बेचे जा सकते.' अहमदाबाद नगर निगम की टाउन प्लानिंग कमेटी ने यह फैसला किया है.

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स्ट्रीट वेंडर्स की बढ़ी चिंता

इस बीच सड़क किनारे रेहड़ी-पटरी लगाकर अपनी आजिविका चलाने वाले नॉनवेज फूड वेंडर्स का कहना है कि इस फैसले से उनकी कमाई पर बुरा असर पड़ेगा इसलिए उन्हें अब अपने परिवार की चिंता सता रही है.

इन शहरों में पहले से लागू है प्रतिबंध

आपको बता दें कि ऐसा आदेश लागू करने वाला अहमदाबाद कोई पहला शहर नहीं है इससे पहले राजकोट, वडोदरा और भावनगर नगर निगमों की सत्ता पर काबिज राजनीतिक नेताओं ने शहर की मुख्य सड़कों से नॉनवेज खाने के स्टाल हटाने के लिए इसी तरह के निर्देश जारी किए थे.

 गुजरात प्रांतीय नगर निगम अधिनियम 1949 के तहत, किसी भी नगर निगम स्थायी समिति द्वारा लिए गए किसी भी फैसले को लागू करने से पहले नगर आयुक्त को मंजूरी देनी होती है. इस बार भी इसी प्रकिया का पालन करते हुए ये फैसला लिया गया है.

'ये तर्क सहीं नहीं'

इस बीच राज्य के सीएम भूपेंद्र पटेल की इस फैसले पर प्रतिक्रिया आई है. बैन पर प्रतिक्रिया देते हुए उन्होंने कहा कि लोग जो चाहें खाने के लिए आजाद हैं. वहीं इस बीच ये कहने वाले भी बहुत हैं कि साफ-सफाई वाले तर्क पर तो बहस हो सकती है कि मानकों पर खरा है तो क्यों न बेचें? लेकिन खाने को भी धर्म से जोड़ने वाला तर्क समझ से परे है. लाखों हिंदू भी नॉनवेज खाते हैं तो फिर ये मुसलमानों को टार्गेट करने वाला फैसला कैसे हो सकता है. 

(एजेंसी इनपुट के साथ)

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