Afghanistan के ताजा हालात पर पीएम मोदी और पुतिन के बीच चर्चा, 45 मिनट तक हुई बातचीत
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Afghanistan के ताजा हालात पर पीएम मोदी और पुतिन के बीच चर्चा, 45 मिनट तक हुई बातचीत

पीएम मोदी (PM Narendra Modi) ने इससे पहले सोमवार को जर्मनी की चांसलर एंजेला मर्केल से भी अफगानिस्तान (Afghanistan) के सुरक्षा हालात और क्षेत्रीय मुद्दों पर चर्चा की थी. दोनों नेताओं ने इस दौरान शांति और सुरक्षा बनाए रखने के महत्व पर भी जोर दिया.

फाइल फोटो

नई दिल्ली: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मंगलवार को रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन से अफगानिस्तान के हालात पर चर्चा की है. दोनों नेताओं के बीच करीब 45 मिनट तक फोन पर बातचीत हुई और तालिबान के कब्जे के बाद अफगानिस्तान के मौजूदा हालात के साथ-साथ कई द्विपक्षीय मुद्दों पर चर्चा की गई.

  1. पीएम मोदी और पुतिन की बातचीत
  2. अफगानिस्तान संकट पर हुई चर्चा
  3. कोरोना के खिलाफ जंग में सहयोग पर बात

पुतिन से इन मुद्दों पर भी चर्चा

प्रधानमंत्री ने एक ट्वीट में कहा, ‘अफगानिस्तान के ताजा हालात पर मेरे मित्र राष्ट्रपति पुतिन से विचारों का उपयोगी और विस्तृत आदान प्रदान हुआ. हम लोगों ने कोरोना के खिलाफ भारत-रूस सहयोग सहित द्विपक्षीय एजेंडे से संबंधित मुद्दों पर चर्चा की. महत्वपूर्ण मुद्दों पर घनिष्ट विमर्श जारी रखने पर दोनों सहमत हुए.’

इससे पहले पीएम मोदी ने सोमवार को जर्मनी की चांसलर एंजेला मर्केल से भी अफगानिस्तान में सुरक्षा हालात और क्षेत्रीय मुद्दों पर चर्चा की थी. दोनों नेताओं ने इस दौरान शांति और सुरक्षा बनाए रखने के महत्व पर भी जोर दिया.

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मर्केल से पीएम मोदी की बातचीत पर पीएमओ की ओर से जारी बयान के मुताबिक दोनों नेताओं ने माना कि सबसे जरूरी प्राथमिकता अफगानिस्तान में फंसे हुए लोगों की स्वदेश वापसी है. उन्होंने द्विपक्षीय मुद्दों पर भी चर्चा की, जिसमें कोरोना वैक्सीन  में सहयोग, जलवायु और ऊर्जा पर ध्यान देने के साथ विकास सहयोग, व्यापार और आर्थिक संबंधों को बढ़ावा देना शामिल है.

अफगानिस्तान को लेकर बातचीत

इस बातचीत के बाद पीएम मोदी ने ट्वीट किया, ‘आज शाम चांसलर मर्केल से बातचीत की और द्विपक्षीय, बहुपक्षीय और क्षेत्रीय मुद्दों के साथ ही अफगानिस्तान में हाल के घटनाक्रम पर चर्चा की. भारत-जर्मनी रणनीतिक साझेदारी को मजबूत करने के लिए हमारी प्रतिबद्धता को दोहराया.’

रूस के राष्टपति पहले ही अफगानिस्तान के शरणार्थियों के प्रति सख्त रुख दिखा चुके हैं. उन्होंने बीते दिनों बयान दिया कि रूस शरणार्थियों की आड़ में अपने देश के भीतर आतंकियों की घुसपैठ नहीं चाहता है. हालांकि उन्होंने इस मुश्किल वक्त में अफगानिस्तान की हर मुमकिन मदद करने का भरोसा जरूर दिया है.

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