Bhilwara News: पंचायत समिति कार्यालय रायपुर के बाहर आमरण अनशन पर बैठा युवक, तबियत बिगड़ी
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Bhilwara News: पंचायत समिति कार्यालय रायपुर के बाहर आमरण अनशन पर बैठा युवक, तबियत बिगड़ी

Bhilwara News: पंचायत समिति कार्यालय रायपुर के बाहर आमरण अनशन पर बैठे युवक कि हालत खस्ता होती जा रही हैं. लेकिन स्थानीय प्रशासन ने अब तक भी उसकी मांगो पर ध्यान देना तक जरूरी नहीं समझा हैं.

Bhilwara News: पंचायत समिति कार्यालय रायपुर के बाहर आमरण अनशन पर बैठा युवक, तबियत बिगड़ी
Bhilwara News: पंचायत समिति कार्यालय रायपुर के बाहर आमरण अनशन पर बैठे युवक कि हालत खस्ता होती जा रही हैं. लेकिन स्थानीय प्रशासन ने अब तक भी उसकी मांगो पर ध्यान देना तक जरूरी नहीं समझा हैं. बता दें कि पंचायत समिति रायपुर के सगरेव ग्राम पंचायत मे प्रधानमन्त्री आवास योजना के अन्तर्गत सत्र 2021 मे जिन व्यक्तियों का नाम नीचे पायदान पर था. उन नामों में गड़बड़ी कर अपने हितेषी लोगो को फायदा पहुचाने के कारण सीधे उपर सूची मे ले लिया.
 
जैसे देउ कॅवर पत्नी दशरथ सिंह बड़वा निवासी सगरेव जो सूची मे पहले नम्बर था, उसको सीधे 56 नम्बर पर कर दिया. इसी तरह चौथे नम्बर पर महेन्द्र सिंह बड़वा पिता भंवर सिंह बड़वा का नाम सूची मे 04 नम्बर पर था. उसको हटाकर सीधे 36 वे नम्बर कर दिया. इसी क्रम मे 05वे नम्बर पर लेहरू गुर्जर पिता देवा गुर्जर का नम्बर था, जिस 45 वे नम्बर पर लगा दिया.
 
आमरण अनशन पर बैठे महेन्द्र सिंह बड़वा पिता भंवर सिंह बड़वा ने आरोप लगाते हुए बताया कि पंचायत समिति रायपुर मे कार्यरत्त कार्मिक व अधिकारियो कि मिली भगत करके प्रधानमन्त्री आवास सूची मे गड़बड़ी के आरोप लगे है, जिसकी शिकायत पूर्व में जिला कलेक्टर के यहा जन सुनवाई मे परिवाद दर्ज करवाया चुका है और उपखण्ड अधिकारी, विकास अधिकारी, को भी कई बार लिखित में शिकायतें दे चुका है.
 
परिवादी का कहना है कि शिकायत पर विकास अधिकारी ने पंचायत समिति रायपुर मे परिवादी को बुलाकर अपनी गलती मानकर परिवादी के नाम मे संशोधित करके प्रधानमन्त्री आवास योजना का लाभ देने कि बात कहकर शिकायत का निस्तारण करवा दिया. मगर 03 वर्ष बीत जाने के उपरान्त भी नामों मे संशोधित नही किया गया, जिस पर परिवादी ने आमरण अनशन का फैसला लेते हुए पंचायत समिति रायपुर कार्यालय के बाहर भूखे हड़ताल की शुरुआत की. 24 घंटे से भूखे प्यासे होने कारण परिवादी महेन्द्र सिंह कि हालत अब खस्ता होती जा रही है, लेकिन आमरण अनशन पर बैठे युवक की स्थानीय प्रशासनिक अधिकारी सुध तक लेने नही पहुंचे है.

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