Nagaur : 70 साल पहले बालवीरों ने बनाया था राम भक्त का मंदिर, अब भव्य स्वरूप में दिखेंगे श्री बाल हनुमान
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Nagaur : 70 साल पहले बालवीरों ने बनाया था राम भक्त का मंदिर, अब भव्य स्वरूप में दिखेंगे श्री बाल हनुमान

Nagaur News : डेगाना शहर के चान्दारूण रोड़ पर निर्माणाधीन श्री बाल हनुमान मंदिर का इतिहास काफी पुराना है. यह मंदिर सन 1950-55 के करीब का मंदिर है. जिसके सामने डेगाना की सबसे पुरानी राजकीय स्कूल का निर्माण किया हुआ है.

Nagaur : 70 साल पहले बालवीरों ने बनाया था राम भक्त का मंदिर, अब भव्य स्वरूप में दिखेंगे श्री बाल हनुमान

Nagaur News : नागौर जिले के डेगाना शहर के निर्माणाधीन बाल हनुमान मंदिर में कल बुधवार 5 अप्रैल से 7 अप्रैल तक तीन दिवसीय आयोजित होने वाली हनुमत कथा एवं कलश व पदयात्रा के आयोजन को लेकर शहरवाशियों और बाल हनुमान मंदिर समिति द्वारा तैयारियां की जा रही है. कल बुधवार 5 अप्रैल को विशाल हनुमंत कथा में कथावाचक विजयशंकर मेहता के द्वारा श्रद्धालुओं कों हनुमंत कथा का वाचन किया जाएगा. विशाल हनुमंत कथा के सफल आयोजन को लेकर मंदिर परिषर में मंदिर समिति द्वारा कार्यकर्ताओ की रोज शाम 8 बजे मीटिंग का आयोजन कर कार्यकर्ताओ से विस्तार से चर्चा की जा रही है. जिसमे सभी कार्यकर्ताओं से चर्चा कर हनुमंत कथा से पूर्व शहर में पदयात्रा सहित महिलाओं द्वारा मंदिर तक कलश यात्रा के रूट चार्ट की रूप रेखा तैयार करने का कार्य किया जा रहा है. मंदिर समिति अध्यक्ष रामकिशोर नावंधर ने बताया कि आयोजन को लेकर कार्यकर्ताओं की अलग अलग 15-20 कमेटियों का गठन कर आयोजन की तैयारी को लेकर जिम्मेदारियां सौंपी गई है.

बाबा की भव्य झांकी के साथ निकलेगी कलश यात्रा और पदयात्रा

हनुमान जन्मोत्सव को लेकर कल बुधवार 5 अप्रैल को डेगाना शहर के पीपली वाले बालाजी, श्री चारभुजा मंदिर चान्दारूण ओर श्री चारभुजा मंदिर झगड़वास से गाजेबाजे के साथ बाबा की भव्य झांकी सजाकर हजारों की संख्या में महिलाओं द्वारा कलश यात्रा निकाली जाएगी. साथ ही बाल हनुमान मंदिर तक भक्तों द्वारा बाबा की ध्वजा के साथ पदयात्रा भी निकाली जाएगी.इसको लेकर कार्यकर्ताओ को जिम्मेदारियां सौंपी जा रही है. मंदिर समिति द्वारा कलश एवं पदयात्रा का जगह जगह पुष्प एंव इत्र वर्षा करने की भी व्यवस्था की जा रही है.बाल हनुमान मंदिर समिति द्वारा मंदिर परिषर में ही कलश यात्रा को लेकर कलश और ध्वजा तैयार करवाई जा रही है.

तीन दिन तक 11 कुण्डीय हवन यज्ञ का होगा आयोजन

निर्माणाधीन बाल हनुमान मंदिर परिसर में तीन दिवसीय हनुमत कथा आयोजन के दौरान 3 दिन तक मंदिर परिसर में 11 कुण्डीय हवन यज्ञ का भी आयोजन किया जाएगा.जिसको लेकर मंदिर समिति द्वारा मंदिर परिसर में 11 हवन कुंड का भी निर्माण कर तैयार किए गए है.

श्री हनुमंत कथा के समापन पर समिति द्वारा 7 अप्रैल को होगा महाप्रसाद का आयोजन

बाल हनुमान मंदिर समिति ने बताया कि कल बुधवार 5 अप्रैल को सुबह 9.15 बजे कलश एंव पदयात्रा, हनुमंत हवन यज्ञ सुबह 11.15 बजे ओर हनुमंत कथा दोपहर 1 बजे से शाम 5 बजे तक और शाम 8.15 बजे मंदिर परिसर में विजय कुमार एंड पार्टी दिल्ली द्वारा संगीतमय सुंदरकांड का आयोजन किया जाएगा.इसी प्रकार कार्यक्रम में 6 अप्रैल को सुबह 9.15 बजे हनुमंत हवन यज्ञ, दोपहर 1 बजे से शाम 5 बजे तक हनुमंत कथा ओर शाम 8 बजे अंजलि जाजू एंड पार्टी भिवंडी मुम्बई द्वारा विशाल भजन संध्या का आयोजन किया जाएगा.साथ ही हनुमंत कथा के समापन 7 अप्रैल को शाम को 5.15 बजे श्री हनुमंत कथा पूर्णाहुति और शाम 7 बजे महाप्रसादी का आयोजन किया जाएगा.

निर्माणाधीन बाल हनुमान मंदिर का इतिहास

डेगाना शहर के चान्दारूण रोड़ पर निर्माणाधीन श्री बाल हनुमान मंदिर का इतिहास काफी पुराना है. यह मंदिर सन 1950-55 के करीब का मंदिर है. जिसके सामने डेगाना की सबसे पुरानी राजकीय स्कूल का निर्माण किया हुआ है. पूर्व में इस विद्यालय में पढ़ने वाले विद्यार्थीयो ने सन 1955 -56 में डेगाना जंक्शन स्थित राजकीय हाई सेकेंडरी स्कूल में पैदल कच्चे रास्ते आते जाते थे उस समय पढ़ने वाले छात्रों में करवा, नावन्धर ,लखारा, मानधना,तोतला,मालपाणि सहित अन्य समाज के छात्रों ने अनुमान से बीचो-बीच एक खेजड़ी के नीचे बालाजी का पत्थर रखकर सिंदूर चढ़ाकर पूजा करने लग गए.

जानकारी के अनुसार द्वारका प्रसाद करवा,रामेश्वर सेवक नागपुर व अन्य साथियों में शिव प्रसाद तिवारी,मदन लाल तिवारी,मालपानी परिवार के छात्रों ने इसका नाम बाल हनुमान नाम रख दिया. धीरे-धीरे श्री भंवर लाल करवा के रिश्तेदारो ने मिलकर एक छोटा मंदिर करीब 1965 में बना दिया. मंदिर से छात्रों की मनोकामनाएं पूर्ण होने पर गौतमचंद कोठारी पुत्र जब्बरचन्द कोठारी सर्फ़रा व्यवसाई निवासी चांदारुण वालों ने व्याख्याता लालचंद के कहने पर इसका जीर्णोद्धार 1978 में करवाया गया. इससे पहले चांदारुण के सेठ साहूकारों द्वारा एक प्याऊ भी बनवाई. इसके पास ही एक सर्वेश्वर प्याऊ का निर्माण रामानंद,रामपाल नावेंधर चांदारुण वालों ने वर्ष 1970 में करवाया गया.

बाल हनुमान मंदिर को बनाने की प्रेरणा जागृत हुई जिसमें सर्राफ़ा व्यवसायी लालचंद लखारा निवासी चांदारुण-डेगाना ने आगे बढ़कर गांव वालों को प्रेरित कर एक कमेटी का निर्माण किया जिसमें अध्यक्ष जुगलकिशोर,कोषाध्यक्ष गौतमचंद कोठारी, महामंत्री लालचंद लखारा को बनाया गया जिसमें पुखराज कोठारी नंदू तोषनीवाल, श्रीकृष्ण जोशी सहित कुल 11 सदस्य बनाए गए लेकिन मन्दिर का निर्माण नही किया जा सका. नथमल डालिया हाल निवासी हैदराबाद वालो ने सन 2000-01 में मंदिर निर्माण की मीटिंग चांदारुण में आयोजित की जिसमें जुगल नांवधर, लालचंद लखारा, नंदलाल मांनधना ने भरपूर कोशिश की लेकिन काम आगे नहीं बढ़ा.

काफी वर्ष बीत जाने के बाद नथमल डालिया, नन्द लाल मांनधना,रामस्वरूप करवा, राजगोपाल मालपानी, लालचंद लखारा आदि की प्रेरणा से एक नवीन कमेटी 2013-14 में बनाई जिसमें अध्यक्ष रामकिशोर नांवधर, कोषाध्यक्ष सुनील टेलर, उपाध्यक्ष मुकेश कुमार लखारा, उपाध्यक्ष शिव कुमार, सचिव धनराज खंडेलवाल, सह सचिव पूनम गुर्जर सहित को बनाया गया. जिसमें 21 सदस्य बनाए गए. पुनः नवीन निर्माण की नींव दिनांक 11 नवम्बर 2017 विजयदशमी को रखी गई. आज इस मंदिर में करोड़ों रुपए लगाकर एक भव्य रूप दिया गया है इस मंदिर का निर्माण काफी भामाशाह द्वारा सहयोग से बनाया गया है.

बाल हनुमान मंदिर समिति अध्यक्ष ने बताया कि इस तीन दिवसीय हनुमंत कथा के आयोजन में क्षेत्र सहित आस पास के 100 किलोमीटर से हजारों की संख्या में श्रद्धालु भाग लेगे.इस मंदिर की मान्यता है कि जो भी सच्चे मन से भक्ति करेगा और बाबा को रिझाता है उसकी मनोकामना पूर्ण होती है और जो सरकारी नोकरी की तैयारी करते है और बाबा के दरबार मे सच्चे मन की भावना से मनोकामना करते है उनकी नोकरी पक्की लगती है.इस भव्य आयोजन में स्थानीय प्रशासन का भरपूर सहयोग मिल रहा है. इस हनुमान जन्मोत्सव के उपलक्ष पर डेगाना में पहलीबार हनुमंत कथा का आयोजन करवाया जा रहा है.

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