Kalindi Express Train: डीजीपी प्रशांत कुमार ने रेलवे सुरक्षा बल व रेलवे (DGP Prashant Kumar held a meeting) के अन्य अफसरों के साथ बैठक की जोकि वीडियो कांफ्रेंसिंग के जरिये हुई. बैठक रेलवे लाइन की सुरक्षा के मद्देनजर ली गई.
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लखनऊ: कानपुर में कालिंदी एक्सप्रेस ट्रेन को विस्फोट कर डिरेल करने के प्रयास करने की साजिश सामने आने बाद प्रदेश की पुलिस किसी भी तरह की लापरवाही नहीं बरतना चाहती है. इस मामले को ध्यान में रखते हुए पुलिस पहले से कहीं अधिक सतर्क मोड में आ गई है. डीजीपी प्रशांत कुमार ने बुधवार को रेलवे लाइन की सुरक्षा पर गौर करते हुए रेलवे सुरक्षा बल व रेलवे के अन्य अधिकारियों के साथ एक वीडियो कांफ्रेंसिंग कर मीटिंगी. जिसमें डीजीपी ने अधिकारियों से कहा कि ट्रेनों पर पत्थरबाजी करने वालों की पहचानकर उनके विरुद्ध कड़ी कार्रवाई की जाए. रेलवे ट्रैक के करीब अवैध निर्माण को नियमानुसार हटाने को लेकर भी कार्रवाई शुरू किए जाने की बात डीजीपी ने कही है.
'अत्यधिक सतर्कता बरतनी है'
डीजीपी प्रशांत कुमार ने आगे इस बैठक में कहा कि समन्वय बनाते हुए संयुक्त रूप से आरपीएफ व जीआरपी रेलवे लाइन के पास हर दिन गश्त करें. रेलवे ट्रैक की सुरक्षा के मद्देनजर हाईटेक टेक्नोलॉजी को उपयोग में लाएं. डीजीपी ने निर्देश दिया कि ट्रेन के इंजन व कोच में सीसीटीवी कैमरा लगवाए जाएं. उन्होंने कहा कि यूपी में रेलवे का सबसे बड़ा नेटवर्क है जिसकी सुरक्षा के प्रति हमें अत्यधिक सतर्कता बरतनी है. रेलवे लाइन के पास के रहने वाले लोगों का पुलिस वेरिफिकेशन कराने के लिए भी अधिकारी ने निर्देश दिए.
'अवैध निर्माणों की पहचान किया जाए'
डीजीपी ने कहा कि रेलवे ट्रैक को अवरुद्ध करने के कई मामले आ रहे है ऐसे में इन घटनाओं को रोकने के लिए सभी को समन्वय बनाकर रखना होगा. उन्होंने कहा कि 10 साल में रेलवे ट्रैक पर जो भी अपराधिक मामले आए हैं उनमें शामिल अपराधियों की मॉनिटरिंग लगातार की जाए. उन्होंने कहा कि अगले साल के कुम्भ मेले से पहले रेलवे ट्रैक के पास के अवैध निर्माणों की पहचान किया जाए और कानूनी प्रक्रिया से इनको हटवाने की कोशिश की जाए. रेलवे लाइन के पास जो भी संवेदनशील स्थानों की पहचान कर वहां सुरक्षा बढ़ाई जाए.
दरअसल, हाल ही में कालिंदी एक्सप्रेस को डिरेल करने की साजिश रची गई थी. पूरी ट्रेन को आग लगा देने की प्लानिंग भी थी. ट्रेन की पटरियों पर मिला आतंकी सामानों से वारदात को अंजाम देने के लिए की जाने वाली प्लानिंग का सबूत मिलता है. रेल जिहाद का मंसूबा सफल होने पर अंजाम अत्यधिक भयानक होता.
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