धरती पर गिरा यूएआरएस उपग्रह

अमेरिकी अंतरिक्ष एजेंसी नासा का सैटेलाइट यूएआरएस शनिवार को दोपहर में धरती पर गिरा.

वाशिंगटन : अमेरिकी अंतरिक्ष एजेंसी नासा ने कहा कि उपयोग से हटा दिया गया उसका एक उपग्रह धरती पर आ गिरा है, लेकिन उसके गिरने की सही जगह का पता नहीं लगा है. पिछले तीस वर्षों में अंतरिक्ष से गिरने वाला अमेरिका का यह सबसे बड़ा उपग्रह है. स्काईलैब पश्चिम ऑस्ट्रेलिया में 1979 में नष्ट हुआ था. नासा ने इस बात को कई बार कहा है कि अपर एटमोसफियर रिसर्च सेटेलाइट के गिरने वाले 26 टुकड़ों से लोगों को नुकसान पहुंचने की आशंका बेहद क्षीण हैं.

अंतरिक्ष एजेंसी ने ट्विटर पर डाले गए एक संदेश में कहा कि इसने आज ही पृथ्वी के वायुमंडल में प्रवेश किया. फिलहाल इसकी जानकारी नासा को नहीं है कि यह उपग्रह कहां पर गिरा है. माना जा रहा है कि इसका ज्यादातर भाग जलकर राख हो गया है. यूएआरएस नाम के इस अनुसंधान उपग्रह को नासा ने 1991 में डिस्कवरी यान के जरिये अतंरिक्ष में छोड़ा था. इसके गिरने से फिलहाल किसी के हतातहत होने की खबर नहीं है.

यूएआरएस शनिवार को  भारतीय समय अनुसार पौने एक बजे दिन में धरती पर गिरा. सैटेलाइट के अवशेष कनाडा,  अटलांटिक महासागर और प्रशांत महासागर में गिरे होने की अशांका व्यक्त की जा रही है. इसके टुकड़े कनाडा में तलाशे जा रहे हैं. 75 करोड़  डॉलर से बने इस सैटलाइट को 1991 में लॉन्च किया गया था. इसका वजन साढ़े छह टन था. ओजोन लेयर और बाहरी वातावरण के अध्ययन के लिए इसे अंतरिक्ष में भेजा गया था. इसे तीन साल काम करने के मकसद से बनाया गया था. लेकिन यह 14 साल तक चला. बेकार होने के बाद यह पृथ्वी की कक्षा में घूम रहा था और घर्षण के चलते कई टुकड़ों में बंट गया था.

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