हज संबंधी प्रक्रिया ऑनलाइन होने के बाद यात्रा हुई किफायती: मुख्तार अब्बास नकवी
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हज संबंधी प्रक्रिया ऑनलाइन होने के बाद यात्रा हुई किफायती: मुख्तार अब्बास नकवी

आपको बता दें कि, सरकार द्वारा मुहैया की जाने वाली हज सब्सिडी पिछले साल खत्म कर दी गई.

सब्सिडी हटाए जाने के बाद हज यात्रियों ने करीब 57 करोड़ रूपये बचाए. (फोटो साभार: facebook)

मुंबई: केंद्रीय मंत्री मुख्तार अब्बास नकवी ने शनिवार को दावा किया कि हज संबंधी प्रक्रियाओं को ऑनलाइन कर देने से यह सालाना यात्रा किफायती हो गई है, जबकि अब सब्सिडी नहीं दी जा रही है. गौरतलब है कि सरकार द्वारा मुहैया की जाने वाली हज सब्सिडी पिछले साल खत्म कर दी गई. उच्चतम न्यायालय के 2012 के एक आदेश के अनुपालन में ऐसा किया गया था. 

अल्पसंख्यक कार्य मंत्री के हवाले से एक बयान में कहा गया है कि समूची हज प्रक्रिया को पूरी तरह से ऑनलाइन/ डिजिटल कर देने से यह सालाना यात्रा किफायती हो गई है, जबकि हज सब्सिडी खत्म कर दी गई है. साथ ही, प्रक्रिया पूरी तरह से हज यात्रियों के लिए अनुकूल बना दी गई है. 

उन्होंने यहां दो दिवसीय एक प्रशिक्षण शिविर का उद्घाटन करने के दौरान यह टिप्पणी की. शिविर का उद्देश्य हज यात्रा के दौरान सहायता मुहैया करना है. उन्होंने कहा कि 2018 में सब्सिडी हटाए जाने के बावजूद हज यात्रियों ने हवाई यात्रा में करीब 57 करोड़ रूपये बचाए. नकवी ने कहा कि हज यात्रा पर इस साल जीएसटी 18 फीसदी से घटा कर पांच फीसदी कर दिया गया है. जीएसटी घटाने से विमान किराये में कम लागत आएगी. 

उन्होंने कहा कि आजादी के बाद पहली बार पिछले साल 1,75,025 भारतीय मुसलमानों ने हज यात्रा की और वह भी बगैर किसी सब्सिडी के. इनमें 48 फीसदी महिलाएं थी. उन्होंने यह भी बताया कि इस साल 2,340 मुस्लिम महिलाएं बगैर मेहरम के हज पर जाएंगी.

(इनपुट भाषा से)

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