Dagestan terror attack: रूस के दागिस्तना में आतंकियों ने लोगों को चुन-चुन कर गोली मारी. दागिस्तान आतंकी हमले से दहल गया. एक साथ तीन जगहों पर आतंकियों ने हमला किया. रूस के बीचों बीच चर्च, यहूदी मंदिर और पुलिस स्टेशन को टारगेट किया था. आतंकियों ने चर्च के पादरी का गला काट दिया. हमलावरों ने एक तय प्लानिंग के तहत चुन चुन कर लोगों को गोली मारी.


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आतंकियों ने काले कपड़े पहन रखे थे


आतंकियों ने काले कपड़े पहन रखे थे और खतरनाक हथियारों से लैस थे, आतंकी अंधाधुंध गोलियां चला रहे थे. उनके निशाने पर पुलिसकर्मी भी थे और आम लोग भी. इस हमले में 15 लोगों की मौत हुई है. 25 से ज्यादा लोग घायल है. जिस यहूदी मंदिर और चर्च पर हमला हुआ वो दागिस्तान के डर्बेंट शहर में हैं, जो मुस्लिम बहुल इलाका है. यहां का उत्तरी काकेशस यहूदी समुदाय का गढ़ है. यहां बड़ी संख्या में यहूदी रहते हैं. 


हमलावर पूरी प्लानिंग के साथ आए थे..


इसी जगह पर यहूदियों के सिनेगॉग यानि यहूदी मंदिर भी है. चर्च और यहूदी मंदिर पर हमले के बाद आतंकियों ने एक पुलिस स्टेशन पर भी हमला किया. जो डर्बेंट से 125 किमी दूर दागिस्तान की राजधानी मखचकला में है. रूस जैसे पावरफुल देश में एक समय पर तीन जगहों पर एक साथ हमला होना.. सरेआम पादरी का गला काट देना.. लोगों को बीच सड़क गोली से छलनी करना, इस बात का संकेत है कि हमलावर पूरी प्लानिंग के साथ आए थे.


6 आतंकी भी मारे गए


हमले के तुरंत बाद पुलिस ने जवाबी कार्रवाई कर 6 आतंकियों को मार गिराया गया.
इनमें में से एक आतंकी MMA फायटर था. MMA का मतलब है रूस की मशहूर मिक्स मार्शल आर्ट. मारा गया आतंकी कागिरोव MMA फाइटर था. 28 साल का आतंकी फ्रीस्टाइल कुश्ती में मास्टर ऑफ स्पोर्ट्स था. इस आतंकी ने MMA के सबसे बड़े कोच और वर्ल्ड चैंपियन खबीब नूरमगोमेदोव से ट्रेनिंग ली थी.


दागिस्तान का इतिहास


रूस के जिस दागिस्तान में ये आतंकी हमला हुआ है. उसके इतिहास के बारे में भी आपको कम समय में ज्यादा जानकारी देते हैं. 1990 में सोवियत यूनियन टूटने के बाद से ही दागिस्तान और इसके पड़ोसी प्रांत चेचन्या में एक इस्लामिक अलगाववादी आंदोलन चल रहा है जो समय समय पर उग्र हो जाता है. 1999 में दागिस्तान पर कुछ समय के लिए इस्लामिक अलगाववादियों का कब्जा भी हो गया था. हालाकि कुछ समय बाद ही रूस की सेना ने इस इलाके पर फिर अपना नियंत्रण स्थापित कर लिया था. रूस आतंकी हमले की अभी किसी आतंकी संगठन ने जिम्मेदारी नहीं ली है. लेकिन आतंकियों ने काले कपड़े पहन रखे थे. इसलिए माना जा रहा है कि इस आतंकी हमले को ISIS ने अंजाम दिया है.