चिन्मयानंद को राहत, Court में बयान से मुकर गई आरोप लगाने वाली छात्रा

कथित पीड़िता मंगलवार को एमपी, एमएलए कोर्ट में पेश हुई और अपने द्वारा पूर्व केंद्रीय मंत्री के खिलाफ लगाए आरोपों को वापस ले लिया. लखनऊ कोर्ट इलाहाबाद हाईकोर्ट के निर्देश पर इस मामले की सुनवाई कर रहा था.

Written by - Zee Hindustan Web Team | Last Updated : Oct 14, 2020, 02:18 PM IST
    • चिन्मयानंद की 20 सितंबर 2019 को मुमुक्ष आश्रम से गिरफ्तारी हुई थी
    • पीड़िता के खिलाफ सीआरपीसी की धारा 340 के तहत अदालत में अर्जी दाखिल
चिन्मयानंद को राहत, Court में बयान से मुकर गई आरोप लगाने वाली छात्रा

लखनऊ: चिन्मयानंद यौन शोषण मामला मंगलवार को  अलग ही मोड़ पर पहुंच गया. भाजपा के पूर्व सांसद पर  चिन्मयानंद पर यौन शोषण का आरोप लगाने वाली शाहजहांपुर की कानून की छात्रा ने अपने आरोप वापस ले लिए हैं. 

कथित पीड़िता मंगलवार को एमपी, एमएलए कोर्ट में पेश हुई और अपने द्वारा पूर्व सांसद के खिलाफ लगाए आरोपों को वापस ले लिया. लखनऊ कोर्ट इलाहाबाद हाईकोर्ट के निर्देश पर इस मामले की सुनवाई कर रहा था.

पीड़िता के खिलाफ मुकदमा
जानकारी के मुताबिक, मंगलवार को पीड़ित लड़की अदालत में गवाही के दौरान पूर्व सांसद चिन्मयानंद उर्फ कृष्णपाल सिंह के खिलाफ लगाए गए आरोपों से मुकर गई. इसके कारण उसके वकील ने ही लड़की को बयान से पलटने वाला (Hostile) घोषित कर दिया और उसके खिलाफ सीआरपीसी की धारा 340 के तहत अदालत में केस की एक अर्जी दाखिल कर दी. 

एमपी-एमएलए कोर्ट के विशेष जज पवन कुमार राय ने अभियोजन की इस अर्जी को रजिस्टर करने और इसकी कॉपी पीड़ित और अभियुक्त को देने का आदेश दिया, ताकि वे जवाब दाखिल कर सकें. मामले की अगली सुनवाई 15 अक्टूबर को होगी.

पिछले साल अगस्त में सामने आया था मामला
आरोप लगाने वाली लड़की शाहजहांपुर में चिन्मयानंद के आश्रम द्वारा संचालित लॉ कॉलेज की छात्रा थी और उसने पिछले साल अगस्त में यौन शोषण का आरोप लगाया था. इस मामले ने तब सुर्खियां बटोरीं जब लड़की अचानक लापता हो गई और नाटकीय अंदाज में सुप्रीम कोर्ट में पेश हुई.

यौन शोषण के आरोपी चिन्मयानंद की 20 सितंबर 2019 को मुमुक्ष आश्रम से गिरफ्तारी हुई थी. एसआईटी ने यूपी पुलिस के साथ मिलकर चिन्मयानंद को गिरफ्तार किया था. 

3 फरवरी को जमानत पर रिहा हुए थे चिन्मयानंद
मामले में 4 नवंबर 2019 को एसआईटी ने चिन्मयानंद के खिलाफ चार्जशीट दाखिल की थी. उन पर आईपीसी की धाराएं 376(सी), 354(डी), 342 व 506 लगाई गई थीं. 13 पेज के चार्जशीट में 33 गवाहों के नाम और 29 दस्तावेजी सबूतों की लिस्ट भी दी गई थी. 

चिन्मयानंद को 3 फरवरी, 2020 को इलाहाबाद हाईकोर्ट से जमानत पर रिहा कर दिया गया था. कोर्ट ने शाहजहांपुर से लखनऊ की एमपी एमएलए विशेष कोर्ट में मुकदमा ट्रांसफर कर दिया था.

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