नई दिल्ली: कथित दिल्ली आबकारी नीति घोटाला मामले की चल रही जांच में, प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने पाया है कि कुछ निवेश 'बेनामी' के रूप में किए गए थे और अब एजेंसी मामले से संबंधित एफआईआर में सीबीआई को बेनामी विरोधी अधिनियम जोड़ने की सिफारिश करने पर विचार कर रही है. सूत्रों ने यह जानकारी दी. एजेंसी को पता चला है कि दक्षिण भारत की कुछ प्रसिद्ध हस्तियों के मामले के कथित आरोपियों के साथ संबंध हैं. हालांकि उनके सीधे संबंध नहीं हैं, लेकिन उनमें से कुछ के आरोपी के साथ अन्य व्यावसायिक संबंध हैं.
अभी तक, एजेंसी ने इस मामले पर कोई टिप्पणी नहीं की है.
ईडी ने बड़े फिल्म-निर्माता से की पूछताछ
सूत्रों ने बताया कि हाल ही में दिल्ली में ईडी मुख्यालय में एक बड़े निर्माता, सह-फिल्म निर्माता से पूछताछ की गई. वह व्यक्ति तेलंगाना का एक बड़ा नाम है और समाज में उसकी गहरी जड़ें हैं. वह हैदराबाद के बिल्डर और फिल्म प्रोड्यूसर हैं.
सूत्रों ने कहा कि उन्हें पता चला है कि कथित घोटाले में पैसा अलग-अलग चैनलों के माध्यम से निवेश किया गया था, जिसे एजेंसी 'बेनामी' के रूप में संदर्भित करती है. ईडी इस बात की भी जांच कर रही है कि क्या कुछ आरोपियों ने कथित घोटाले में काले धन का निवेश किया था. अधिकारियों को इस बारे में एक गुप्त सूचना मिली है, हालांकि अभी तक उनके पास इस संबंध में महत्वपूर्ण सबूत नहीं हैं.
दो सॉफ्टवेर फर्म भी ईडी की रडार पर
जांच के दौरान दो सॉफ्टवेयर फर्म भी ईडी के रडार पर आईं और सूत्रों ने बताया कि दोनों के दफ्तरों की तलाशी ली गई. तलाशी के दौरान ईडी अधिकारियों को कुछ संदिग्ध लेन-देन का पता चला.
इससे पहले ईडी द्वारा देश भर में 30 से अधिक स्थानों पर तलाशी ली गई थी, जिनमें से छह हैदराबाद में की गई थीं.
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