सहकारी सभाएं ग्रामीण क्षेत्रों के विकास में जमीनी स्तर पर अदा कर सकती हैं अहम भूमिका: राजेश धर्माणी
Advertisement
Article Detail0/zeephh/zeephh2489535

सहकारी सभाएं ग्रामीण क्षेत्रों के विकास में जमीनी स्तर पर अदा कर सकती हैं अहम भूमिका: राजेश धर्माणी

Himachal Pradesh News: हिमाचल प्रदेश के नगर एवं ग्राम नियोजन (टीसीपी), आवास और तकनीकी शिक्षा मंत्री राजेश धर्माणी ने हमीरपुर में एक कार्यक्रम के दौरान कहा, सहकारी सभाएं ग्रामीण क्षेत्रों के विकास और समाज के सभी वर्गों के उत्थान में जमीनी स्तर पर बहुत बड़ी भूमिका अदा कर सकती हैं.

सहकारी सभाएं ग्रामीण क्षेत्रों के विकास में जमीनी स्तर पर अदा कर सकती हैं अहम भूमिका: राजेश धर्माणी

अरविंदर सिंह/हमीरपुर: नगर एवं ग्राम नियोजन (टीसीपी), आवास और तकनीकी शिक्षा मंत्री राजेश धर्माणी शनिवार को हमीरपुर जिला के नादौन उपमंडल के धनेटा क्षेत्र के गांव भदरूं पहुंचे, जहां उन्होंने हिमाचल प्रदेश राज्य सहकारी विकास संघ (हिमकोफैड) शिमला द्वारा 'सहकारिता से समृद्धि' विषय पर आयोजित एक दिवसीय जिला स्तरीय सहकारी शिक्षा प्रशिक्षण कार्यक्रम में मुख्य अतिथि के रूप में शिरकत की.   

कार्यक्रम के दौरान उन्होंने कहा, सहकारी सभाएं ग्रामीण क्षेत्रों के विकास और समाज के सभी वर्गों के उत्थान में जमीनी स्तर पर बहुत बड़ी भूमिका अदा कर सकती हैं. इसके लिए उन्हें अपनी कार्यप्रणाली में प्रोफेशनलिज्म, पारदर्शिता और सभी को साथ जोड़ने की भावना को आत्मसात करने के साथ-साथ अपनी गतिविधियों का विस्तार करना होगा.

खत्म नहीं कन्वर्ट किए जा रहे सरकारी पद, सीएम सुखविंदर सिंह सुक्खू ने बताया कारण

उन्होंने कहा, सहकारी सभाओं को केवल राशन की बिक्री तक ही सीमित रहने के बजाय अन्य गतिविधियों में भी संभावनाएं तलाश करनी चाहिए. इसके साथ ही कहा, कई स्वयं सहायता समूह, किसान, बागवान और अन्य लोग अच्छे उत्पाद तैयार करते हैं, लेकिन इन्हें बाजार नहीं मिल पाता है. सहकारी सभाओं को इन उत्पादों की मार्केटिंग के लिए आगे आना चाहिए. बागवानी विभाग की एचपीशिवा परियोजना में भी सहकारी सभाओं के लिए अच्छी संभावनाएं हैं. कॉमन सर्विस सेंटर्स और सोलर प्रोजेक्टों के संचालन, ग्रामीण क्षेत्रों में खाली जमीन पर कोऑपरेटिव फार्मिंग में भी प्रयास किए जा सकते हैं. 

राजेश धर्माणी ने कहा कि सहकारी सभाओं के सुदृढ़ीकरण के लिए प्रदेश सरकार कई कदम उठा रही है. सरकार ने सहकारी सभाओं को एपीएमसी की फीस में छूट प्रदान की है, जिससे कई सभाओं की आय में अच्छी बढ़ोतरी हुई है. प्रदेश सरकार स्थानीय स्तर पर कई सार्वजनिक सेवाओं को सहकारी सभाओं को सौंपने पर भी विचार कर रही है. 

Chamba में आवारा कुत्तों ने 28 लोगों को किया घायल, पशुपालन विभाग ने उठाया बड़ा कदम

उन्होंने सहकारिता विभाग को सभी सहकारी सभाओं का समस्त लेखा-जोखा ऑनलाइन करने के लिए वेबसाइट बनाने करने का भी सुझाव दिया. इसके साथ ही कहा कि इससे सहकारी सभाओं की कार्यप्रणाली में पारदर्शिता आएगी और लोगों में उनके प्रति भरोसा कायम होगा. 

WATCH LIVE TV

Trending news