इस बार सावन मास के कृष्ण पक्ष की सावन शिवरात्रि 6 अगस्त, यानी आज के दिन मनाई जाएगी. सावन शिवरात्रि के दिन भगवान शिव और माता पार्वती की पूजा अर्चना की जाती है.
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नई दिल्लीः इस बार सावन मास के कृष्ण पक्ष की सावन शिवरात्रि 6 अगस्त, यानी आज के दिन मनाई जाएगी. सावन शिवरात्रि के दिन भगवान शिव और माता पार्वती की पूजा अर्चना की जाती है. कहते हैं कि सावन शिवरात्रि पर भगवान शिव को जल चढ़ाने और मां पार्वती की पूजा करने से सभी मनोकामनाएं पूरी होती हैं.
शिवरात्रि पर अलग-अलग राशि के लोग अपने कष्टों के निवारण और मनोवांछित फल प्राप्ति के लिए रुद्राभिषेक करके या प्रतिष्ठित शिवलिंग पर जलाभिषेक करके लाभ प्राप्त कर सकते हैं, तो चलिए हैं कि सावन शिवरात्रि पर किस राशि के लोग किस चीज से करें रूद्राभिषेक-
अपनी राशि के मुताबिक करें रुद्राभिषेकः-
मेषः- गाजर के रस से रुद्राभिषेक कर सकते हैं
वृषः- दूध से रुद्राभिषेक कर सकते हैं
मिथुनः- धनिया के रस से रुद्राभिषेक कर सकते हैं
कर्कः- गंगा जल से रुद्राभिषेक कर सकते हैं
सिंहः- रोली मिश्रित जल से रुद्राभिषेक कर सकते हैं
कन्याः- धनिया के रस से रुद्राभिषेक कर सकते हैं
तुलाः- दूध से रुद्राभिषेक कर सकते हैं
वृश्चिकः- गन्ने या गुड़ के रस से रुद्राभिषेक कर सकते हैं
धनुः- हल्दी मिश्रित जल से रुद्राभिषेक कर सकते हैं
मकरः- गिलोय के रस से रुद्राभिषेक कर सकते हैं
कुंभः- सरसों के तेल से रुद्राभिषेक कर सकते हैं
मीनः- हल्दी मिश्रित जल से रुद्राभिषेक कर सकते हैं
जानें, वन शिवरात्रि शुभ मुहूर्तः- सावन मास की शिवरात्रि 6 अगस्त की शाम 6 बजकर 28 मिनट से शुरू होगी, जो कि अगले दिन 7 अगस्त की शाम 7 बजकर 11 मिनट तक रहेगी.
व्रत पारण का समयः- शिवरात्रि के दूसरे दिन 7 अगस्त, शनिवार की सुबह 5 बजकर 46 मिनट से दोपहर 3 बजकर 45 मिनट तक है.
जानें, क्या है महत्वः- हिंदू धर्म में सावन शिवरात्रि का सबसे महत्व माना जाता है. आज के दिन भगवान शिव और माता पार्वती की पूजा-अर्चना पूरे विधि-विधान के साथ करने से सभी मनोकामनाएं पूरी हो जाती हैं.
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