Tulsi Vivah Puja Vidhi: यहां जानें तुलसी विवाह की पूजा विधि और शुभ मुहूर्त, क्या है इस दिन की मान्यता
Advertisement
Article Detail0/zeephh/zeephh2508196

Tulsi Vivah Puja Vidhi: यहां जानें तुलसी विवाह की पूजा विधि और शुभ मुहूर्त, क्या है इस दिन की मान्यता

Tulsi Vivah Vidhi: हिंदू धर्म में तुलसी विवाह का विशेष महत्व बताया गया है. कार्तिक महीने के शुक्ल पक्ष की एकादशी तिथि को मां तुलसी का विवाह शालीग्राम भगवान से कराया जाता है. इस साल तुलसी विवाह 12 नवंबर को कराया जाएगा. 

 

Tulsi Vivah Puja Vidhi: यहां जानें तुलसी विवाह की पूजा विधि और शुभ मुहूर्त, क्या है इस दिन की मान्यता

Tulsi Vivah Vidhi: हिंदू धर्म में तुलसी की पूजा का विशेष महत्व बताया गया है. कहा जाता है कि जिस घर में मां तुलसी की नियमित रूप से पूजा की जाती है वहां सुख-समृद्धि और मां लक्ष्मी का वास होता है. कहा जाता है कि जिस घर में तुलसी का पौधा कभी भी हरा-भरा नहीं होता है उस घर में नकारात्मकता होती है. 

यह है तुलसी विवाह का शुभ मुहूर्त
बता दें, हिंदू धर्म में तुलसी विवाह का भी विशेष महत्व बताया गया है. जी हां, दीपावली के बाद कार्तिक महीने के शुक्ल पक्ष की एकादशी तिथि को मां तुलसी का विवाह शालीग्राम भगवान से करवाया जाता है. इससे वैवाहिक जीवन में सुख-समृद्धि आती है. इस साल तुलसी विवाह 12 नवंबर को कराया जाएगा. हालांकि कुछ लोग तुलसी विवाह द्वादशी तिथि को भी कराते हैं, जो लोग द्वादशी तिथि को तुलसी विवाह कराते हैं वे 13 नवंबर को विवाह करेंगे. तुलसी विवाह का शुभ मुहूर्त 12 नवंबर को शाम 5 बजकर 29 मिनट से शाम 7 बजकर 53 मिनट तक रहेगा. 

Weekly Rashifal: अगले 7 दिन में इन राशि वालों की चमकेगी किस्मत, मिलेगा धन लाभ

प्रसाद में शामिल करें यह सामाग्री
बता दें, कार्तिक महीने के शुक्ल पक्ष की एकादशी तिथि को 'देवउठनी एकादशी/देवशयनी एकादशी' भी कहा जाता है. इस दिन भगवान विष्णु योग निद्रा से जागते हैं. इसी दिन से मांगलिक कार्य होने शुरू होते हैं. इस दिन तुलसी के पौधे का विवाह शालीग्राम के पत्थर से कराया जाता है, जिन लोगों के घर शालीग्राम का पत्थर नहीं होता है वे भगवान विष्णु की मूर्ति से भी मां तुलसी का विवाह करवा सकते हैं. तुलसी विवाह के लिए शाम का समय शुभ माना जाता है. तुलसी विवाह के लिए प्रसाद के रूप में गन्ना, सिंघाड़े और पकवान शामिल किए जाते हैं.  

इस विधि से करें तुलसी विवाह
तुलसी के पौधे पर श्रृंगार की सामाग्री और लाल चुनरी चढ़ाएं. इसके बाद तुलसी के पौधे के पास भगवान विष्णु की मूर्ति या फिर शालीग्राम के पत्थर को रखकर शादी की रस्में शुरू करें. माता तुलसी और शालिग्राम को दूध में भीगी हल्दी चढ़ाएं. तुलसी विवाह के दौरान तुलसी के पौधे की 11 बार परिक्रमा करें. विवाह संपन्न होने के बाद सभी को प्रसाद बांट दें. बता दें, इस दिन सुबह जल्दी उठकर तुलसी के पौधे के पास साफ-सफाई कर दें और मां तुलसी को भी पानी से साफ कर दें.

WATCH LIVE TV

Trending news