Shimla urban: जानिए उस चायवाले की कहानी, जिसके लिए BJP ने मंत्री का टिकट काट दिया
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Shimla urban: जानिए उस चायवाले की कहानी, जिसके लिए BJP ने मंत्री का टिकट काट दिया

हिमाचल प्रदेश विधानसभा चुनाव 2022 के लिए बीजेपी ने अपने उम्मीदवारों की लिस्ट जारी कर दी है. बीजेपी ने शिमला शहरी सीट से 3 बार विधायक रहे और मंत्री सुरेश भारद्वाज का टिकट काटकर चाय वाले संजय सूद (Who is Sanjay Sood) को अपना यहां का उम्मीदवार बनाया है.

Shimla urban: जानिए उस चायवाले की कहानी, जिसके लिए BJP ने मंत्री का टिकट काट दिया

नई दिल्ली: Shimla Urban Seat: हिमाचल प्रदेश में विधानसभा चुनाव 2022 (Himachal Assembly election 2022) के लिए 12 नवंबर को मतदान और 8 दिसंबर को परिणाम घोषित होगा. इसके लिए उम्मीदवारों की लिस्ट (Himachal candidate name list) जारी कर नामांकन प्रक्रिया भी शुरू हो गई है. इसी बीच भारतीय जनता पार्टी (BJP) ने अपने प्रत्याशियों के नामों (BJP Candidate List) का खुलासा कर दिया है. बीजेपी की सूची में चौंकाने वाला खुलासा हुआ. 

शिमला शहरी सीट से बीजेपी के मंत्री और तीन बार विधायक रहे सुरेश भारद्वाज की जगह संजय सूद को उम्मीदवार बनाया है. सुरेश भारद्वाज को शिमला शहरी सीट से कुसुमपट्टी का उम्मीदवार बना दिया गया है. अब आपको बताते हैं कि प्रदेश की महत्वपूर्ण सीटों में शुमार शिमला शहरी सीट के नए उम्मीदवार संजय सूद (Chaiwala Sanjay Sood) के बारे में.  

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कौन हैं संजय सूद (Who is Sanjay Sood)?

दरअसल, संजय सूद शिमला के ही रहने वाले हैं. उनकी शिमला के ओल्ड बस स्टैंड पर एक चाय की दुकान है. 2007 में बीजेपी की टिकट से पार्षद का चुनाव जीता था. वे बीजेपी के कोषाध्यक्ष और पार्षद भी रहे हैं. उन्होंने जनता के बीच मेहनती नेता के रूप में अपनी अच्छी पहचान बनाई है. कहीं न कहीं यही वजह है कि बीजेपी ने प्रदेश की सबसे महत्पूर्ण शिमला शहरी सीट के लिए उन्हें उम्मीदवार बनाया है. बीजेपी से टिकट मिलने पर संजय काफी खुश हैं. इसके लिए उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का भी धन्यवाद किया. 

2017 विधानसभा चुनाव में थे टिकट के प्रबल दाबेदार
आपको बता दें कि संजय सूद 2017 में भी भारतीय जनता पार्टी के टिकट के लिए प्रबल दावेदार थे. हालांकि तब बाजी सुरेश भारद्वाज मार ले गए थे. सूद व भारद्वाज को पार्टी के भीतर का धुर विरोधी माना जाता है. दोनों नेताओं की गुटबाजी शिमला में देखी जा सकती है. हालांकि टिकट मिलने पर संजय सूद ने बीजेपी आलाकमान का आभार जताया. उन्होंने कहा कि शिमला शहरी सीट से मेरे जैसे छोटे कार्यकर्ता को मैदान में उतारने के लिए मैं अपनी पार्टी का आभारी हूं. हमारे मंत्री (सुरेश भारद्वाज) को कसुम्पटी से टिकट दिया गया है. वह अपनी सीट जीतेंगे और मेरी सीट जीतने में भी मेरी मदद करेंगे.

बोले- मैं मोदी के पैरों की धूल तक नहीं
बीजेपी प्रत्याशी संजय सूद से जब उनकी तुलना पीएम मोदी से होने पर पूछा गया तो उन्होंने गजब जबाव दिया. शिमला अर्बन से बीजेपी प्रत्याशी संजय सूद ने कहा कि वह पीएम मोदी के पैरों की धूल भी नहीं हैं. पीएम मोदी के मुकाबले पूरी दुनिया में कोई नेता नहीं है. 

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अब आपको बताते हैं शिमला शहरी सीट का इतिहास
बता दें, शिमला शहर विधानसभा सीट पहले शिमला के नाम से ही जानी जाती थी, लेकिन साल 2008 के बाद इसका परिसीमन कर शिमला शहर और शिमला ग्रामीण दो सीटों में बांट दिया गया. शिमला शहर सीट पर काफी समय तक बीजेपी का कब्जा रहा है. साल 1967 में शिमला शहर सीट पर जनसंघ के उम्मीदवार ने जीत हासिल की थी. साल 1998 में बीजेपी से नरेंद्र बरागट इस क्षेत्र के विधायक बने थे. इसके बाद 2003 में कांग्रेस से हरभजन सिंह भज्जी और 2007 में सुरेश भारद्वाज ने जीत हासिल की और तब से लेकर अब तक इस सीट पर उन्हीं का कब्जा है.

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