अफगानिस्तान के ताज़ा हालात पर भारत चिंतित, वहां मौजूद दूतावास को तत्काल बंद करने से किया इनकार
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अफगानिस्तान के ताज़ा हालात पर भारत चिंतित, वहां मौजूद दूतावास को तत्काल बंद करने से किया इनकार

अफगानिस्तान में तालिबान की ताकत धीरे-धीरे मजबूत होती जा रही है. ऐसे में विदेश मंत्रालय के तरजुमान अरिंदम बागची ने कहा कि वहां हिफाज़ती सूरते हाल चिंता का विषय है. भारत लगातार वहां के हालात पर नजर बनाए हुए हैं. 

MEA Spokesperson, Arindam Bagchi (Photo Credit: ANI)

नई दिल्ली: अफगानिस्तान (Afghanistan) में आए दिन सुरक्षा की सूरते हाल खराब होती जा रही है और तालिबान के लड़ाको बड़े बड़े शहरों पर एक-एक करके कब्जा करते जा रहे हैं. इसी दरमियान भारत ने गुरुवार को अफगानिस्तान में अपने दूतावास को तत्काल बंद करने से इनकार कर दिया है. भारत ने कहा कि वह वसी जंगबंदी और सियासी हल के लिए तमाम फरीकों के साथ काम करना जारी रखेगा.

अफगानिस्तान में तालिबान की ताकत धीरे-धीरे मजबूत होती जा रही है. ऐसे में विदेश मंत्रालय के तरजुमान अरिंदम बागची ने कहा कि वहां हिफाज़ती सूरते हाल चिंता का विषय है. वह लगातार वहां के हालात पर नजर बनाए हुए हैं. उन्होंने ये भी बताया कि भारत दोहा में अफगानिस्तान पर एक बैठक में भाग ले रहा है. इस बैठक में अफगानिस्तान के कई स्टेक होल्डर भी शामिल होंगे.

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अरिंदम बागची ने कहा कि भारत चाहता है कि अफगानिस्तान में शांति हो ताकि वहां तवील मुद्दती तरक्की हो सके. बागची ने कहा कि सभी स्टेक होल्डर्स को इस नजरिए से काम करना चाहिए ताकि अफगान-नेतृत्व वाली, अफगान-स्वामित्व वाली और अफगान-नियंत्रित व्यवस्था हो.

अफगानिस्तान में भारतीयों के लिए हुकूमत ने जारी की एडवायजरी
अब इसी बीज अफगानिस्तान में भारतीय सिफारत खाने ने मंगलवार को हिफाज़ती एडवाइजरी जारी की है. इस एडवाइजरी में भारतीय शहरियों को फौरन मुल्क वापस टौलने की सलाह दी गई है. सिफारत खाने ने भारतीय कंपनियों को अफगानिस्तान में प्रोजेक्ट साइट से अपने भारतीय कर्मचारियों को फौरन वापस मुल्क लौटने की सलाह दी है.

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गैर-मुल्की कंपनियों के साथ काम कर रहे मुलाज़िमों को भी सलाह दी गई है कि वह अपनी कंपनी से कहें कि जल्द से जल्द उन्हें भारत भेजने में मदद करें. वहीं, मीडिया से जुड़े लोगों को सलाह दिया गया है कि अफगानिस्तान में काम रहे भारतीय मीडियाकर्मी ब्रीफिंग के लिए दूतावास के सार्वजनिक मामलों और सुरक्षा विंग के साथ राब्ता करें. ऐसे में मीडिया के लोग जिस इलाके में सफर कर रहे हैं, उन्हें बेहतर सलाह दी जा सकेगी क्योंकि वहां फिलहाल हिफाज़ती सूरते हाल में तेजी से बदलाव हो रहे हैं.

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