Twitter Layoff: क्या है ‘गोल्डन पैराशूट’ नियम जिसने छंटनी के बाद भी कराया पराग अग्रवाल को अरबों का फायदा
Advertisement
trendingNow11415760

Twitter Layoff: क्या है ‘गोल्डन पैराशूट’ नियम जिसने छंटनी के बाद भी कराया पराग अग्रवाल को अरबों का फायदा

Golden Parachute: मस्क ने पराग अग्रवाल के अलावा मुख्य वित्तीय अधिकारी (CFO) नेड सेगल और ट्विटर की लीगल टीम की प्रमुख विजया गाड्डे को भी बर्खास्त किया है. तीनों को हटाने के बदले में मस्क को इन्हें करीब 12.2 करोड़ डॉलर देने होंगे. ये रकम करीब एक हजार करोड़ रुपये के बराबर है. यह फायदा इन तीनों को गोल्डन पैराशूट नियम की वजह से मिल रहा है.

पराग अग्रवाल और एलन मस्क

Elon Musk Twitter Deal: लंबे इंतजार के बाद आखिरकार ट्विटर और मस्क के बीच डील पूरी हो चुकी है. अब ट्विटर का मालिकाना हक एलन मस्क के पास आ गया है. इस अधिग्रहण के बाद ट्विटर को लेकर अलग-अलग कई खबरें सुर्खियों में हैं. इन्हीं में से एक है एलन मस्क का चार्ज लेते ही ट्विटर के सीईओ पराग अग्रवाल समेत कुछ अन्य टॉप लेवल के अधिकारियों को बर्खास्त कर दिया. इन अधिकारियों की बर्खास्तगी लगातार चर्चा में है, लेकिन यह नौकरी जाने की वजह से नहीं, बल्कि नौकरी जाने की वजह से इन्हें हुए फायदे के कारण है. इस डील से मस्क को कितना फायदा होगा ये तो भविष्य बताएगा, लेकिन डील के बाद हुई छंटनी से सबसे ज्यादा फायदे में पराग अग्रवाल ही हैं. आइए जानते हैं कैसे. 

गोल्डन पैराशूट की वजह से मिल रहा लाभ

दरअसल मस्क ने पराग अग्रवाल के अलावा मुख्य वित्तीय अधिकारी (CFO) नेड सेगल और ट्विटर की लीगल टीम की प्रमुख विजया गाड्डे को भी बर्खास्त किया है. रॉयटर्स ने रिसर्च फर्म Equilar के हवाले से बताया है कि इन तीनों को हटाने के बदले में मस्क को इन्हें करीब 12.2 करोड़ डॉलर देने होंगे. ये रकम करीब एक हजार करोड़ रुपये के बराबर है. यह फायदा इन तीनों को गोल्डन पैराशूट की वजह से मिल रहा है.

किसे मिलेगा कितना फायदा

इस बर्खास्तगी के बाद सबसे ज्यादा फायदा पराग अग्रवाल को होगा. उन्हें 5.74 करोड़ डॉलर यानी 465 करोड़ रुपये मिलेंगे. चीफ फाइनेंशियल ऑफिसर नेड सीगल को 4.45 करोड़ डॉलर यानी 365 करोड़ रुपये और लीगल अफेयर्स और पॉलिसी चीफ विजय गड्डे को 2 करोड़ डॉलर यानी 164 करोड़ रुपये मिलेंगे. इन सबसे अलावा तीनों को कुल मिलाकर 6.5 करोड़ डॉलर यानी 526 करोड़ रुपये ट्विटर के उन शेयरों के लिए भी मिलेंगे जो कंपनी में रहते हुए उन्हें हासिल हुए थे और जिनके लिए मस्क ने ऊंचा ऑफर भी दिया है. इसमें गड्डे की हिस्सेदारी सबसे ज्यादा यानी 3.48 करोड़ डॉलर की है. वहीं सेगल को 2.2 करोड़ डॉलर और अग्रवाल को 84 लाख डॉलर का लाभ होगा.

क्या है गोल्डन पैराशूट नियम

गोल्डन पैराशूट कर्मचारियों के हितों की रक्षा करने के लिए बनाया गया एक नियम है. इस नियम के जरिये कंपनियां कई प्रतिभाशाली लोगों को अपने यहां जॉब के लिए लुभाती हैं. ये एक तरह का मुआवजा होता है और उस स्थिति में लागू होता है जब कंपनी किसी स्टाफ को जॉब से निकालती है. ये इसलिए भी ऑफर किया जाता है कि किसी तरह के बदलाव की स्थिति में किसी विवाद का असर न पड़े. गोल्डन पैराशूट के न होने पर मामले के कोर्ट में जाने की संभावना रहती है. इसस उस डील के अटकने का खतरा रहता है. इन सब जटिलताओं को देखते हुए ही गोल्डन पैराशूट नियम बनाया गया था. इस नियम के तहत कंपनी अगर किसी कर्मचारी को निकालती है तो उसे भुगतान में 100 प्रतिशत सैलरी और हेल्थकेयर प्रीमियम के साथ इक्विटी से जुड़े फायदों को भी देना होता है. क्योंकि पराग अग्रवाल को साल 2021 में कुल मिलाकर 3 करोड़ डॉलर की सैलरी मिली थी, इसलिए उन्हें इस नियम के तहत सभी मदों को मिलाकर इतना अधिक लाभ मिल रहा है.

ये ख़बर आपने पढ़ी देश की नंबर 1 हिंदी वेबसाइट Zeenews.com/Hindi पर

Trending news