Lok Sabha Elections 2024: NDA में शामिल होने पर जयंत चौधरी ने कहा, 'मैंने अपनी पार्टी के सभी विधायकों और कार्यकर्ताओं से बात करने के बाद यह फैसला लिया. इस फैसले के पीछे कोई बड़ी प्लानिंग नहीं थी.हमें थोड़े समय में ही यह फैसला लेना पड़ा. हम लोगों के लिए कुछ अच्छा करना चाहते हैं.
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RLD-NDA Alliance: आखिरकार RLD चीफ जयंत चौधरी की जुबान पर दिल की बात आ ही गई. जयंत चौधरी ने ऐलान कर दिया है कि वह बीजेपी की अगुआई वाले एनडीए में शामिल हो गए हैं. लंबे वक्त से जयंत चौधरी के एनडीए में शामिल होने की अटकलें लग रही थीं.
NDA में शामिल होने पर जयंत चौधरी ने कहा, 'मैंने अपनी पार्टी के सभी विधायकों और कार्यकर्ताओं से बात करने के बाद यह फैसला लिया. इस फैसले के पीछे कोई बड़ी प्लानिंग नहीं थी.हमें थोड़े समय में ही यह फैसला लेना पड़ा. हम लोगों के लिए कुछ अच्छा करना चाहते हैं. जयंत चौधरी ने यह ऐलान आरएलडी के संस्थापक और पिता अजित सिंह की जयंती पर किया है. माना जा रहा है कि लोकसभा चुनाव से पहले आरएलडी का बीजेपी के साथ आना पश्चिमी उत्तर प्रदेश में गेम चेंजर हो सकता है.
#WATCH |Delhi: On joining NDA, RLD chief Jayant Chaudhary says, "...I took this decision after speaking to all the MLAs and workers of my party. There was no big planning behind this decision, we had to take this decision within a short time because of the situation. We want to… pic.twitter.com/oCokYUX8gA
— ANI (@ANI) February 12, 2024
मिशन 370 के लिए जयंत जरूरी
ऐसा नहीं है कि जयंत की मदद के बिना बीजेपी पश्चिमी उत्तर प्रदेश में जीत नहीं सकती. लेकिन बीजेपी चाहती है कि जयंत को अपने साथ रखकर वह कुछ और क्षेत्रों में जीत हासिल करे ताकि मिशन 370 को पूरा किया जा सके. साल 2014 में बीजेपी ने यूपी में 71 सीटें जीती थीं. जयंत का बीजेपी के साथ जाना सिर्फ समाजवादी पार्टी ही नहीं बल्कि इंडिया गठबंधन के लिए भी बड़ा झटका है.
हाल ही में केंद्र की मोदी सरकार ने पूर्व पीएम और जयंत चौधरी के दादा चौधरी चरण सिंह को भारत रत्न देने का ऐलान किया था. इस पर प्रतिक्रिया देते हुए जयंत ने एक्स पर लिखा था-दिल जीत लिया. इसके बाद जब जयंत से पूछा गया था कि क्या वह एनडीए में शामिल होंगे. जवाब में उन्होंने कहा था- अब मैं किस मुंह से मना करूं. क्या अब भी कोई कसर रहती है.
वेस्ट यूपी में ऐसे हैं समीकरण
आरएलडी और बीजेपी गठबंधन के बाद पश्चिमी उत्तर प्रदेश में सीटों का गणित बदल जाएगा. वेस्ट यूपी में 27 सीटें हैं, जहां जाट वोटर्स किसी को जिताने और हराने का माद्दा रखते हैं. जयंत चौधरी जाटों के नेता माने जाते हैं. हिंदू और मुस्लिम दोनों ही समुदायों में उनकी स्वीकार्यता है. साल 2019 के लोकसभा चुनाव में बीजेपी ने वेस्ट यूपी की 19 सीटें जीती थीं. जबकि सपा-बसपा गठबंधन को 8 सीटें मिली थीं. रालोद कोई भी सीट जीतने में नाकाम रही थी.