LCA Mark-2 पहली उड़ान भरने को तैयार, भारत अब पलक झपकते ही दुश्मनों को पहुंचा देगा जहन्नुम, जानें क्या है इसकी खासियत
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LCA Mark-2 पहली उड़ान भरने को तैयार, भारत अब पलक झपकते ही दुश्मनों को पहुंचा देगा जहन्नुम, जानें क्या है इसकी खासियत

LCA Tejas Mark 2: एलसीए मार्क-2 लड़ाकू विमान की सबसे बड़ी खासियत इसकी अविश्वसनीय गति होगी. यह विमान हवा में 2385 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से दौड़ सकता है, जो इसे दुनिया के सबसे तेज लड़ाकू विमानों में से एक बनाता है.

LCA Mark-2 पहली उड़ान भरने को तैयार, भारत अब पलक झपकते ही दुश्मनों को पहुंचा देगा जहन्नुम, जानें क्या है इसकी खासियत

Tejas Mk-2 Set for First Flight: स्वदेशी आधुनिक लड़ाकू विमान एलसीए तेजस मार्क-2 के 2025 में अपनी पहली उड़ान भरने की संभावना है. एयरोनॉटिकल डेवलपमेंट एजेंसी (एडीए) ने राजस्थान के जोधपुर में एक कार्यक्रम के दौरान यह जानकारी दी. इस कार्यक्रम में भारतीय वायुसेना के स्वदेशी पांचवीं पीढ़ी के विमान एएमसीए और तेजस मार्क-2 के मॉडल को प्रदर्शित किया गया. भारतीय वायुसेना इस स्वदेशी और आधुनिक लड़ाकू विमान को में 2035 तक अपने बेड़े में शामिल करने का लक्ष्य लेकर चल रही है. साथ ही स्वदेशी पांचवीं पीढ़ी के विमान एमका (एएमसीए) को 2040 तक अपने बेड़े में शामिल करने का लक्ष्य है. 

तेजस मार्क-1 का आधुनिक वर्जन
कार्यक्रम के दौरान एयरोनॉटिकल डेवलपमेंट एजेंसी (एडीए) के अधिकारी वाजी राजपुरोहित ने पत्रकारों से बात करते हुए बताया कि तेजस मार्क-2 इसके ही पूर्ववर्ती एलसीए तेजस मार्क-1 का आधुनिक वर्जन है.

जानें क्या है इसकी खासियत
इस एयरक्राफ्ट में मार्क-1 की तुलना में आधुनिक हथियार होंगे. इसके साथ ही इसमें आधुनिक एवियॉनिक्स, डिजिटल फ्लाइट कंट्रोल सिस्टम (फ्लाई-बाय-वायर) भी शामिल होगा. इस विमान का डिजाइन पूरा कर लिया गया है. 2025 तक हम इस विमान की पहली उड़ान भी कर लेंगे. इसके अलावा हमारी पांचवी पीढ़ी के स्वदेशी एयरक्राफ्ट एमका की पहली उड़ान हम 2028 तक करने का लक्ष्य लेकर चल रहे हैं. 

2385 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार
एलसीए मार्क-2 लड़ाकू विमान की सबसे बड़ी खासियत इसकी अविश्वसनीय गति होगी. यह विमान हवा में 2385 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से दौड़ सकता है, जो इसे दुनिया के सबसे तेज लड़ाकू विमानों में से एक बनाता है. इसकी कुल उड़ान की दूरी 2500 किलोमीटर है, जबकि युद्धाभ्यास के दौरान यह 1500 किलोमीटर तक की दूरी तय कर सकता है. इसके अलावा, यह विमान 56,758 फीट की ऊंचाई तक उड़ान भरने में सक्षम होगा.

2040 तक भारतीय वायुसेना के बेड़े में होगा शामिल
उन्होंने आगे कहा कि यह विमान स्टेल्थ तकनीक पर आधारित होगा. इसमें अलग प्रकार की तकनीक और धातु की इस्तेमाल किया जाता है. यह 5.5 पीढ़ी का लड़ाकू विमान होगा. हम इसके 2040 तक भारतीय वायुसेना में शामिल करने का लक्ष्य लेकर चल रहे हैं. यह दो इंजनों वाला बहुउद्देशीय विमान होगा. 

जानें किसने इसे बनाया?
बता दें कि तेजस भारत की रक्षा प्रयोगशालाओं द्वारा निर्मित किया गया विमान है. यह सिंगल इंजन डेल्टा विंग बहुउद्देशीय हल्का लड़ाकू विमान है. इसे हिंदुस्तान एयरोनॉटिक्स ने तैयार किया है. एलसीए को 2003 तत्कालीन प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेई ने तेजस नाम दिया था. इस विमान की पहली स्क्वाड्रन को भारतीय वायुसेना में 2016 में शामिल किया गया था. इनपुट भाषा से भी

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