MP: बाढ़ पीड़ितों की मदद के लिए नेता मैदान में, शिवराज सिंह कर रहे हैं धरना-प्रदर्शन
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MP: बाढ़ पीड़ितों की मदद के लिए नेता मैदान में, शिवराज सिंह कर रहे हैं धरना-प्रदर्शन

सरकारी आंकड़े के अनुसार, राज्य में बारिश-बाढ़ से लगभग 12 हजार करोड़ रुपये का नुकसान हुआ है. इसमें सबसे ज्यादा नुकसान किसानों को हुआ है.

सीएम कमलनाथ, शिवराज सिंह चौहान और ज्योतिरादित्य सिंधिया (फाइल फोटो)

नई दिल्ली: मध्य प्रदेश में अतिवृष्टि और बाढ़ ने बड़े पैमाने पर खेती को नुकसान पहुंचाया है. कई क्षेत्रों के खेतों की फसलें पानी में डूब गई हैं. किसानों पर बरसी आफत को लेकर सियासत भी तेज हो गई है. पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान जगह-जगह धरना-प्रदर्शन कर रहे हैं तो मुख्यमंत्री कमलनाथ ने किसानों को हर संभव मदद का भरोसा दिलाया है.  कांग्रेस नेता ज्योतिरादित्य सिंधिया ने भी मंगलवार से बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों का दौरा शुरू कर दिया है. सरकारी आंकड़े के अनुसार, राज्य में बारिश-बाढ़ से लगभग 12 हजार करोड़ रुपये का नुकसान हुआ है. इसमें सबसे ज्यादा नुकसान किसानों को हुआ है. लगभग 22 लाख किसानों की 24 हेक्टेयर खेती को नुकसान हुआ है. राज्य सरकार ने केंद्र से राहत राशि की मांग की है. 

राज्य के पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने मंगलवार को नसरुल्लागंज में धरना-प्रदर्शन किया. उन्होंने राज्य सरकार पर किसानों की कर्जमाफी न करने और बिजली का बिल आधा किए जाने के वादे को पूरा न करने का आरोप लगाया. उन्होंने कहा कि बारिश से किसानों को नुकसान हुआ है. फसल बर्बाद हो गई है. राज्य सरकार को 40 हजार रुपये हेक्टेयर की दर से मुआवजा देना चाहिए. बाढ़ और अतिवृष्टि से कई लोगों के मकान गिर गए हैं, उन्हें प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत आवास दिए जाने चाहिए. 

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मुख्यमंत्री कमलनाथ के मंदसौर और नीमच के बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों के दौरे पर तंज कसते हुए चौहान ने कहा कि अगर मामा (चौहान) मंदसौर नहीं जाता तो मुख्यमंत्री कमरे से बाहर नहीं निकलते और मंदसौर नहीं जाते. वहीं कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और पूर्व केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया ने भी मंगलवार से बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों का दौरा शुरू कर दिया है. पहले दिन उन्होंने मंदसौर व नीमच के प्रभावित गांवों का दौरा किया. उन्होंने कहा कि शासन-प्रशासन को किसानों के साथ खड़ा रहना ही होगा. अन्नदाता का यह प्रदेश है. प्रारंभिक तौर पर जो सर्वे हुआ है, उससे संतुष्ट नहीं हूं, बादल छंट गए हैं, दोबारा सर्वे होना चाहिए. जो सर्वे का आंकलन होगा, एक-एक कलेक्टर के पास सूचना जाए, वह किसानों की मदद करे. 

सिंधिया आगामी दो दिनों में ग्वालियर चंबल के बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों का दौरा करने वाले हैं. इससे पहले सिंधिया कई हिस्सों का दौरा कर चुके हैं. इससे पहले मुख्यमंत्री कमलनाथ ने सोमवार को मंदसौर और नीमच का दौरा किया था. इस दौरान कमलनाथ ने किसानों की हर संभव मदद का वादा किया था, साथ ही कहा था कि यह पहले जैसी सरकार नहीं है, प्रभावितों को मुआवजे के लिए भटकना नहीं होगा. प्रभावितों को सर्वे से पहले ही राहत राशि मिलेगी. इनपुट आईएएनएस 

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