Sharad Pawar vs Ajit Pawar on NCP: नेशनलिस्ट कांग्रेस पार्टी पर किसका कब्जा होगा, इसका फैसला अगले कुछ दिनों में होने जा रहा है. शरद पवार और भतीजे अजित पवार दोनों ने चुनाव आयोग में अपने अस्त्र चल दिए हैं.
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Politics War between Sharad Pawar vs Ajit Pawar over NCP: महाराष्ट्र में अब शिवसेना के बाद एनसीपी पर कब्जे को लेकर लड़ाई तेज हो गई है. अपने समर्थकों के साथ मिलकर बीजेपी के साथ सरकार बना लेने वाले अजित पवार ने पार्टी के नाम-निशान को लेकर दावा ठोक रखा है, जिसका उनके चाचा और पार्टी सुप्रीमो विरोध कर रहे हैं. इस मामले में आज चुनाव आयोग में दोनों पक्षों ने अपना-अपना पक्ष रखा. अजित पवार गुट की ओर से उनके बेटे चुनाव आयोग के दफ्तर पहुंचे और उसकी सुनवाई में शामिल हुए. उनसे पहले सुप्रिया सुले अपनी बेटी के साथ आई थीं. सुप्रिया सुले शरद पवार की बेटी और पार्टी सांसद हैं.
NCP पर कब्जे की लड़ाई
बताते चलें कि एनसीपी के नाम- निशान पर कब्जे के मामले की पिछली सुनवाई 2 नवंबर को हुई थी, जिसमें दोनों गुटों को खुद को असली एनसीपी बताते हुए पार्टी पर अपना हक जताया था. इस मामले में पैरवी के लिए शरद पवार गुट ने सीनियर एडवोकेट और कांग्रेस नेता अभिषेक मनु सिंघवी को हायर किया है. पिछली सुनवाई में शरद पवार की ओर से पैरवी करते हुए उन्होंने अजित पवार गुट पर कई गंभीर आरोप लगाए थे.
'इस मोड़ पर कोई कमेंट नहीं'
सुनवाई में शामिल हुए पार्थ पवार ने कहा, 'मैं इस मोड़ पर कोई कमेंट नहीं करना चाहता. हम तभी बोलेंगे, जब मामले में फैसला आएगा. हम गुरुवार- शुक्रवार को दोबारा मिलेंगे, जब संभवत मामले में निर्णय आएगा. तब मैं पार्टी की ओर से अपनी बात रखूंगा.'
VIDEO | "I don't want to comment on anything at the moment. We will speak when the verdict comes out. Thursday-Friday, we have to meet again, so on Friday probably, you will hear me out," says Parth Pawar, son of Maharashtra Deputy CM Ajit Pawar, after the two warring NCP… pic.twitter.com/4hFVJdUWpJ
— Press Trust of India (@PTI_News) November 20, 2023
मामले में शुक्रवार को होगी सुनवाई
आज सोमवार को आयोग के सामने हुई सुनवाई में एक बार फिर अभिषेक मनु सिंघवी ने शरद पवार गुट की ओर से बात रखीं. वहीं अजित पवार गुट की ओर से नीरज कौल और मनिंदर सिंह ने पैरवी की. दोनों पक्षों की बहस सुनने के बाद आयोग ने पैरवी के लिए अगली तारीख शुक्रवार तय कर दी. बहस के बाद अभिषेक मनु सिंघवी ने कहा कि उन्होंने अपने तर्क खत्म कर लिए हैं. चुनाव आयोग के सामने हजारों दस्तावेज, हलफनामे रखे गए हैं.
'अजित गुट पर दर्ज हो मामला'
उन्होंने बताया कि उन फर्जी दस्तावेजों की 24 श्रेणियां बनाई गई हैं. अजित गुट की ओर से जिन लोगों के एफिडेविट लगाए गए, उनमें से कुछ शहर में नहीं रहते, कुछ बीमा एजेंट हैं. 26 अक्टूबर को अजित पवार गुट ने एक पदाधिकारी का शपथ पत्र दिया था. लेकिन हमने कहा कि यह नकली है. उन्हें कोई सांत्वना नहीं दी जानी चाहिए क्योंकि यह एक शर्मनाक काम है. हमने अभी सिर्फ 9 हजार सैंपल दिए हैं और हमारी मांग है कि मजिस्ट्रेट के सामने आपराधिक मामला दर्ज किया जाए.