REET 2021 Rajasthan : साल 2021 में शिक्षा विभाग में शिक्षक भर्ती के लिए आयोजित रीट परीक्षा (REET Exam2021) भी चर्चा का बड़ा मुद्दा रही. इस परीक्षा के लिए सरकार की तरफ से बड़े पैमाने पर किये गए बंदोबस्त के साथ ही परीक्षा के आयोजन की चर्चा तो रही और उस पर सरकार ने अपनी पीठ भी खूब थपथपाई लेकिन इन सबके साथ रीट परीक्षा का पर्चा लीक होने के आरोप भी पुरजोर तरीके से विपक्ष की तरफ से लगाये गए.
Trending Photos
REET 2021 Rajasthan : साल 2021 में शिक्षा विभाग में शिक्षक भर्ती के लिए आयोजित रीट परीक्षा (REET Exam2021) भी चर्चा का बड़ा मुद्दा रही. इस परीक्षा के लिए सरकार की तरफ से बड़े पैमाने पर किये गए बंदोबस्त के साथ ही परीक्षा के आयोजन की चर्चा तो रही और उस पर सरकार ने अपनी पीठ भी खूब थपथपाई लेकिन इन सबके साथ रीट परीक्षा का पर्चा लीक होने के आरोप भी पुरजोर तरीके से विपक्ष की तरफ से लगाये गए. परीक्षा में बैठे अभ्यर्थियों ने भी यह मुद्दा उठाया और उनकी आवाज को समर्थन मिला राज्यसभा सांसद किरोड़ी लाल मीणा की तरफ से. भारतीय जनता पार्टी ने भी रीट भर्ती (REET 2021) में कथित तौर पर हुए फर्जीवाड़े और पर्चा लीक के मामले को उठाया.
इस बीच सांसद किरोड़ी लाल मीणा (Kirodi Lal Meena) के पास मदद के लिए अभ्यर्थी पहुंचे तो किरोड़ी भी अपने आप को नहीं रोक पाए और शहीद स्मारक पर अभ्यर्थियों के साथ धरने पर जम गए. दरअसल परीक्षा का स्तर इतना बड़ा था कि इसमें फर्जीवाड़ा या सीधे तौर पर पर्चा लीक रोकना बहुत मुश्किल था. किरोड़ी और उनके साथ धरने पर बैठे अभ्यर्थियों का यह कहना था कि परीक्षा से 2 घंटे पहले ही राजस्थान पुलिस के एक कांस्टेबल के पास रीट का पेपर पहुंच गया था और उसने परीक्षा में बैठ रही अपनी पत्नी को मदद करने के लिए यह पेपर हासिल किया था. अब व्हाट्सएप पर पर्चा पहुंचने के बाद आगे कितने लोगों तक यह पहुंचा, इसकी जांच एसओजी को सौंपी गई.
पूरे मामले में तकरीबन दो दर्जन शिक्षकों को निलंबित किया गया. इस परीक्षा के दौरान अभ्यर्थियों को मिले पेपर्स की सील खुली होने की शिकायत कई जगह से आई, तो इस परीक्षा के दौरान चप्पल में ब्लूटूथ लगाकर नकल कराने वाले गिरोह (Cheating at REET 2021) का भंडाफोड़ हुआ. परीक्षा विवादों में तब और आ गई जब धरने पर बैठे किरोड़ी लाल मीणा ने इन सभी मुद्दों को उठाने के साथ ही राजस्थान माध्यमिक शिक्षा बोर्ड के अध्यक्ष डीपी जारोली के खिलाफ मोर्चा खोल दिया.
यह भी पढ़ें: REET 2021: साल की सबसे बड़ी परीक्षा, नियुक्तियां देने की तैयारी में राजस्थान सरकार
दरअसल किरोड़ी का कहना था कि सभी 32 जिलों में सरकार के नुमाइंदे के रूप में अतिरिक्त जिला कलेक्टर को परीक्षा के लिए नोडल अधिकारी बनाया गया था, लेकिन प्रदेश के 33 में से एक मात्र जयपुर जिला ऐसा था जहां पर एडीएम को परीक्षा की कमान नहीं सौंपी गई. इसी में पेंच बताते हुए किरोड़ी लाल मीणा ने रीट भर्ती में फर्जीवाड़े का मुद्दा उठाते हुए सरकार को घेरा और फिर से परीक्षा कराने की मांग की. हालांकि इस बीच किरोड़ी लाल मीणा को कुछ अप्रिय स्थितियों का भी सामना करना पड़ा. जब धरने पर बैठे किरोड़ी लाल मीणा को बीजेपी के प्रदेश प्रभारी अरुण सिंह ने पार्टी कार्यालय बुलाकर खिंचाई की और धरना उठाने के लिए समझाया तब किरोड़ी ने धरना तो उठा लिया, लेकिन रीट परीक्षा के कथित फर्जीवाड़े को लेकर सरकार के खिलाफ मोर्चा कमजोर नहीं किया.
मौके ऐसे भी आए जब बीजेपी ने रीट के कथित फर्जीवाड़े के खिलाफ धीरे-धीरे अपनी आवाज को कम कर दिया लेकिन किरोड़ी लाल मीणा ने अपनी तरफ से मुद्दे को खूब हवा दी. इतना ही नहीं, किरोड़ी को बीजेपी प्रदेश कार्यालय में प्रेस कॉन्फ्रेंस करने की इजाजत नहीं दी गई. पिंक सिटी प्रेस क्लब में फर्जीवाड़े की कलई खोलने के लिए मीडिया के सामने किरोड़ी ने सीकर से जुड़े कोचिंग संस्थान का मामला भी उठाया, तो बोर्ड अध्यक्ष के खिलाफ भी लगातार मोर्चा खोला.
इधर सरकार (Rajasthan Government) की तरफ से भी गोविंद सिंह डोटासरा (Govind Singh Dotasra) ने शिक्षा मंत्री रहते हुए रीट के आयोजन को सफल बताया. डोटासरा ने खुद के साथ राजस्थान माध्यमिक शिक्षा बोर्ड और सरकार की पीठ भी थपथपाई. डोटासरा ने कहा कि इतने बड़े स्तर पर परीक्षा के आयोजन के लिए अभ्यर्थियों की सहूलियत को देखते हुए व्यवस्था की गई. उन्होंने देश के किसी भी राज्य के मुकाबले राजस्थान की व्यवस्थाओं को बेमिसाल बताते हुए कहा कि, बीजेपी परीक्षा के सफल आयोजन पर पचा नहीं सकती, लिहाजा इसमें खलल डालना चाहती है. रीट परीक्षा में कथित फर्जीवाड़े का मुद्दा उठता रहा और इसी बीच माध्यमिक शिक्षा बोर्ड ने अजमेर से इस परीक्षा का परिणाम भी जारी कर दिया.
इस परीक्षा में तकरीबन 31000 पदों पर भर्ती होनी थी. इसके लिए दोनों लेवल की परीक्षा के लिए तकरीबन 25 लाख अभ्यर्थियों ने फॉर्म भरे और उनमें से 13 लाख अभ्यर्थी परीक्षा में बैठे. बीएड के अभ्यर्थियों ने दोनों लेवल की परीक्षा के फॉर्म भरे थे, जिसे लेकर भी मामला हाईकोर्ट में पहुंचा और वहां से बीएड योग्यताधारी अभ्यर्थियों को मायूसी हाथ लगी है. रीट परीक्षा पर सियासत पूरी तरह थमी नहीं है. 31 हजार पदों पर भर्ती के लिए हुई परीक्षा के बाद अब इन पदों को बढ़ाकर 50 हजार तक करने की मांग उठ रही है और आने वाले साल में इस मुद्दे के साथ रीट परीक्षा में बैठे अभ्यर्थी सरकार का ध्यानाकर्षण कर सकते हैं तो खबरों में यह मुद्दा आगे भी बनता दिखाई देगा. इन सबके बीच अब सरकार नए साल में अभ्यर्थियों को नियुक्ति देने की तैयारी कर रही है.