उदयपुर की प्रतापनगर थाना पुलिस ने कार्रवाई करते हुए प्रोपर्टी व्यवसायी से 50 लाख की फिरौती मांगने के मामले का खुलासा किया है. पुलिस ने कार्रवाई करते हुए दो आरोपियों को गिरफ्तार किया है. पुलिस पूछताछ में आरोपियों ने चौंकाने वाला खुलासा किया है.
Trending Photos
Udaipur: उदयपुर की प्रतापनगर थाना पुलिस ने कार्रवाई करते हुए प्रोपर्टी व्यवसायी से 50 लाख की फिरौती मांगने के मामले का खुलासा किया है. पुलिस ने कार्रवाई करते हुए दो आरोपियों को गिरफ्तार किया है. पुलिस पूछताछ में आरोपियों ने चौंकाने वाला खुलासा किया है.
यह भी पढ़ें-पायलट का बड़ा बयान, कहा- राजनीतिक पार्टियां धर्म और जाति के आधार पर लोगों को चाहती है बांटना
दरअसल, ढिकली निवासी प्रोपर्टी व्यसायी जीवनदास उर्फ राजू दास पिता नारायण दास को 27 मार्च को बदमाशों ने कॉल कर 50 लाख रुपये की फिरौती मांगी थी. फिरौती की रकन नहीं देने पर उसे जान से मारने की धकमी दी गई. यही नहीं बदमाशों ने वॉट्सएप पर मैसेज कर भी फिरौती की रकम मांगी थी. इस पर राजू ने प्रतापनगर थाने में मामला दर्ज कराया.
मामले की गंभीरता को देखते हुए पुलिस ने आरोपियों को पकड़ने के लिए विशेष टीम का गठन किया. इस पर पुलिस ने कार्रवाई करते हुए फिरौती मांगने वाले आरोपी नरेन्द्र कुमार उर्फ बंटी निवासी निचला माण्डवा कल्याणपुर और अभिजीत उर्फ अभि निवासी बडला खेरवाडा को गिरफ्तार कर लिया. पुलिस पूछताछ में सामने आया कि आरोपी अभिजीत उर्फ अभि प्रार्थी जीवनदास के बेते यशवन्त का मित्र है.
अभिजीत का जीवनदास के घर पर आना जाता था, उसे जीवनदास के बारे में पुरी जानकारी थी और उसका मोबाइल नंबर भी थे. महंगे शौक को पुरा करने के लिए अभिजीत ने अपने साथी बंटी के साथ मिल कर जीवनदास से बड़ी रकम वसुलने की योजना बनाई और उसे कॉल कर धमकी देते हुए फिरौती मांगी. जीवनदास अभि की आवाज पहचानता था, इसलिए उसने अपने साथी बंटी से फिरौती मांगने के लिए कॉल करवाया, लेकिन जब उन्हें पता चला कि मामला पुलिस तक पहुंच चूका है.
यह भी पढ़ें-धूप से पस्त हुई मादा पैंथर के सामने बेखौफ होकर मोर कपल ने की अठखेलियां, Video वायरल
उन्होंने मोबाइल की सीम तोड़ कर फैंक दी, लेकिन आरोपी पुलिस की पकड़ से नहीं बच पाए. पुलिस की पूछताछ में आरोपियों ने फिरौती मांगना कबूल कर लिया. एएसपी सिटी अशोक कुमार मीणा और डीएसपी जरनैल सिंह के सुपरविजन में हुई इस कार्रवाई में प्रतापनगर थानाधिकारी दर्शन सिंह, उप निरिक्षक इन्द्रजीत सिंह, हैडकांस्टेबल लालसिंह, कांस्टेबल अचलाराम, नागेन्द्र और परसाद थाने के कांस्टेबल अनिल की अहम भूमिका रहीं.
Reporter- Avinash Jagnawat