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नई दिल्ली: बीएसएफ के DG राकेश अस्थाना (Rakesh Asthana) दिल्ली पुलिस कमिश्नर बनाए गए हैं. गुजरात कैडर के 1984 बैच के आईपीएस अधिकारी अस्थाना को रिटायर होने से तीन दिन पहले दिल्ली पुलिस प्रमुख के रूप में नियुक्त किया गया है. उनका कार्यकाल एक साल का होगा.
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में मंत्रिमंडल की नियुक्ति समिति (ACC) ने एजीएमयूटी कैडर से बाहर गुजरात कैडर के अस्थाना की दिल्ली पुलिस आयुक्त के तौर पर नियुक्ति को मंजूरी दी. ऐसे बहुत कम उदाहरण हैं जब एजीएमयूटी कैडर के बाहर से एक आईपीएस अधिकारी को दिल्ली पुलिस प्रमुख के रूप में नियुक्त किया गया हो. 2018 में सीबीआई में अपने कार्यकाल के दौरान अस्थाना का सीबीआई के तत्कालीन निदेशक आलोक वर्मा से विवाद हुआ था और दोनों ने एक दूसरे पर भ्रष्टाचार के आरोप लगाए थे. केंद्र सरकार ने इसके बाद दोनों अधिकारियों को CBI से हटा दिया था.
1984 बैच के IPS अधिकारी राकेश अस्थाना (Rakesh Asthana) के पिता हरे कृष्ण अस्थाना झारखंड के नेतरहाट सरकारी स्कूल में शिक्षक थे. यहीं से अस्थाना मैट्रिक की परीक्षा पास करने के बाद आगे की पढ़ाई के लिए रांची पहुंचे. रांची के सेंट जेवियर कॉलेज से उन्होंने आगे की पढ़ाई की. सिविल एग्जाम क्रेक करने के बाद IPS में चयन के बाद उन्हें गुजरात कैडर मिला.
चारा घोटाले की जांच में रही अहम भूमिका
राकेश अस्थाना की बिहार के चारा घोटाले की जांच में अहम भूमिका रही थी. उन्होंने CBI एसपी रहते हुए चारा घोटाले की जांच की थी. राकेश अस्थाना की तेज तर्रार IPS अधिकारियों में गिनती होती है. राकेश अस्थाना वही अधिकारी हैं जिनके निगरानी में सुशांत सिंह-रिया चक्रवर्ती ड्रग्स कनेक्शन मामले में दो एफआईआर दर्ज की गई थीं.
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इसके पहले राकेश अस्थाना सीबीआई में स्पेशल डायरेक्टर भी रह चुके हैं और सूरत कमिश्नर रहते हुए उन्होंने आसाराम मामले में एक महत्वपूर्ण जांच अपनी निगरानी में शुरू की थी, जिसमें आसाराम और उसके बेटे की गिरफ्तारी भी की गई थी. राकेश अस्थाना ने बीएसएफ में रहते कई बड़े ऑपरेशन को लीड किया है. इसके अलावा NCB में रहते हुए दिल्ली, मुंबई और देश के कई राज्यों में बड़े ड्रग्स ऑपरेशन किए हैं. हाल में ही सीबीआई डायरेक्टर के नाम पर भी राकेश अस्थाना की चर्चा थी.
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