पाकिस्तान के विदेश मंत्री की गीदड़भभकी, 'भारत बुरी नज़र से देखने की भी मत सोचे'
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पाकिस्तान के विदेश मंत्री की गीदड़भभकी, 'भारत बुरी नज़र से देखने की भी मत सोचे'

पुलवामा आतंकवादी हमले के बाद भारत और पाकिस्तान के मध्य बढ़े तनाव के बीच विदेश मंत्री शाह महमूद कुरैशी ने भारत को गीदड़भभकी देने की कोशिश की.

कुरैशी ने कहा कि पाकिस्तान तनाव को खत्म करने का प्रयास कर रहा है

इस्लामाबाद: जम्मू कश्मीर के पुलवामा में हुए आतंकवादी हमले के बाद भारत और पाकिस्तान के मध्य बढ़े तनाव के बीच विदेश मंत्री शाह महमूद कुरैशी नेभारत को गीदड़भभकी देने की कोशिश की. शाह ने भारत को चेताते हुए कहा, "पाकिस्तान को बुरी नज़र से देखने की भी मत सोचो." इतना ही नहीं, शाह ने दावा किया कि उनका देश शांति चाहता है लेकिन भारत एक ‘युद्ध उन्माद’ पैदा कर रहा है. पाकिस्तान के आतंकवादी संगठन जैश-ए-मोहम्मद के आतंकवादी हमले में गत 14 फरवरी को सीआरपीएफ के 40 जवान शहीद हुए थे.

पुलवामा हमले के मद्देनजर एक बैठक के बाद मीडिया को संबोधित करते हुए कुरैशी ने कहा कि पाकिस्तान तनाव को खत्म करने का प्रयास कर रहा है और उसने संयुक्त राष्ट्र को पत्र लिखा है तथा इस वैश्विक संस्था के हस्तक्षेप का आग्रह किया है. इस हमले के कुछ दिन बाद प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने कहा था कि इस कायरतापूर्ण कृत्य का बदला लेने के लिए सुरक्षा बलों को पूरी छूट दी गई है.

कुरैशी ने कहा, "पाकिस्तान शांति चाहता है और मैं स्पष्ट संदेश देना चाहता हूं कि भारत युद्ध उन्माद पैदा कर रहा है, लेकिन अगर उसे लगता है कि वह पाकिस्तान को दबाव में ला सकता है या हम पर हमला कर सकता है, तो उसे इस धारणा को छोड़ देना चाहिए क्योंकि यह राष्ट्र एक मुट्ठी की तरह एकजुट है."

कुरैशी ने कहा कि भारत ने जम्मू कश्मीर में नर्सों, चिकित्सकों और पराचिकित्सकों की छुट्टियों को रद्द करने के लिए एक परिपत्र जारी किया है. कुरैशी ने कहा कि जम्मू-कश्मीर की पूर्व मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती ने कहा है कि "आप लोगों को दबा सकते हैं, लेकिन उनके विचारों को नहीं." पूर्व विदेश सचिवों और राजदूतों से रविवार को मुलाकात करने वाले कुरैशी ने कहा कि पुलवामा हमले के मद्देनजर उभरे घटनाक्रम से निपटने के लिए सूचना प्राप्त करने के वास्ते विचार-विमर्श बैठक आयोजित की गई थी.

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