पटाखों से भरा अनानास खिलाने से केरल के मल्लापुरम में एक हथिनी की मौत पर भाजपा सांसद मेनका गांधी ने अपनी प्रतिक्रिया दी है.
Trending Photos
नई दिल्ली: पटाखों से भरा अनानास खिलाने से केरल के मल्लापुरम में एक हथिनी की मौत पर भाजपा सांसद मेनका गांधी (Maneka Gandhi) ने अपनी प्रतिक्रिया दी है. मेनका गांधी ने हथिनी की मौत को हत्या बताया और कहा कि मल्लापुरम ऐसी घटनाओं के लिए कुख्यात है. इसके साथ ही मेनका गांधी ने केरल के वायनाड से कांग्रेस सांसद राहुल गांधी पर भी निशाना साधा और कहा कि वन सचिव को हटा दिया जाना चाहिए. वन्य जीव संरक्षण मंत्री को भी इस्तीफा दे देना चाहिए. राहुल गांधी उस क्षेत्र से हैं, उन्होंने कार्रवाई क्यों नहीं की?
हथिनी की मौत को लेकर मेनका गांधी ने कहा, 'ये हत्या है, मल्लापुरम ऐसी घटनाओं के लिए कुख्यात है. यह देश का सबसे हिंसक राज्य है. यहां लोग सड़कों पर जहर फेंक देते हैं जिससे 300 से 400 पक्षी और कुत्ते एक साथ मर जाएं. केरल में हर तीसरे दिन एक हाथी को मार दिया जाता है. केरल सरकार ने मल्लापुरम मामले में अभी तक कोई कार्रवाई नहीं की है. ऐसा लगता है, वो डरे हुए हैं. भारत में हाथियों की संख्या वैसे भी लगातार घटती जा रही है. अब इनकी संख्या 20,000 से भी कम हो गई है.'
Kerala Government has not taken any action in Malappuram, it seems they are scared. An elephant is killed every 3 days in Kerala. We have less than 20,000 elephants left in India, they are rapidly declining: Maneka Gandhi, BJP MP & animal rights activist https://t.co/hkbRSYSU30
— ANI (@ANI) June 3, 2020
बता दें कि मल्लापुरम में पिछले हफ्ते एक गर्भवती हथिनी को किसी ने पटाखों से भरा अनानास खिला दिया. जिससे उसकी मौत हो गई.
दरअसल, हथिनी खाने की तलाश में शहर की तरफ आ गई थी. हथिनी को भूख लगी थी और उसे लोगों ने जब अनानास दिया तो उसने खा लिया. इसके बाद उसके मुंह में ही पटाखे फट गए और बाद में उसकी मौत हो गई. यह मामला बीते बुधवार 27 मई का बताया जा रहा है. हथिनी की मौत शनिवार को हुई है.
ये भी देखें:-
मन्नरक्कड़ वन रेंज के अधिकारी के मुताबिक, इस मामले में अज्ञात लोगों के खिलाफ वन्यजीव संरक्षण अधिनियम के तहत एफआईआर दर्ज की गई है.
इस घटना को लेकर वन अधिकारी मोहन कृष्णन ने फेसबुक पर लिखा, 'उसने सभी पर विश्वास किया. जब उसने अनानास खाया तो उसे नहीं पता था कि इसमें पटाखे हैं. उसका मुंह और जीभ बहुत ही बुरी तरह से जख्मी थी. लेकिन दर्द में भी उसने किसी को नुकसान नहीं पहुंचाया.'
उन्होंने आगे लिखा, 'आखिरकार वो वेलियार नदी में खड़ी हो गई. वन विभाग ने उसे बाहर निकालने की कोशिश की, लेकिन उसने ऐसा नहीं करने दिया. उसे सम्मानजनक विदाई देने के लिए हमने एक ट्रक मंगवाया और उसी जंगल में अंतिम विदाई दी, जहां उसका बचपन बीता और वो बड़ी हुई.'