Firecrackers Ban: पटाखों पर बैन के मामले पर सुनवाई करते हुए सुप्रीम कोर्ट ने बड़ा आदेश दिया है और साफ किया है कि पटाखों पर बैन को लेकर उसकी ओर से जारी किए दिशानिर्देश सिर्फ दिल्ली एनसीआर तक सीमित नहीं है. बल्कि, ये देश के सभी राज्यों पर लागू होता है.
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Supreme Court on Firecrackers Ban: दिवाली पर पटाखे जलाने का चलन है, लेकिन पिछले कुछ सालों से बढ़ते प्रदूषण की वजह से कई राज्यों में इस पर रोक लगाई गई है. अब दिवाली से पहले पटाखों के बैन पर सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) ने बड़ा आदेश दिया है. मामले की सुनवाई करते हुए कोर्ट ने साफ कर दिया है कि पटाखों को लेकर जारी दिशानिर्देश सभी राज्यों में लागू होंगे. कोर्ट ने यह भी कहा कि राज्य सरकारों की जिम्मेदारी बनती है कि वो वायु प्रदूषण और ध्वनि प्रदूषण पर लगाम लगाने के लिए जरूरी कदम उठाएं.
क्या दिवाली पर जला पाएंगे पटाखे?
सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) के आदेश के बाद साफ हो गया है कि दिवाली पर पटाखे जलाने का नियम अलग-अलग राज्यों में अलग-अलग होगा. कोर्ट ने कहा कि प्रदूषण के स्तर को देखते हुए राज्य सरकार को पटाखों के बैन पर फैसला लेना है. यानी जिस राज्य में पटाखे पूरी तरह बैन हैं, वहां पटाखे नहीं जलाए जा सकते हैं. अगर किसी राज्य में ग्रीन पटाखे जलाने की अनुमति है तो वहीं सिर्फ ग्रीन पटाखे जला सकते हैं.
आजकल बच्चो से ज्यादा बड़े चलाते हैं पटाखें: कोर्ट
पटाखे पर बैन के मामले की सुनवाई के दौरान टिप्पणी करते हुए सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) ने कहा कि पर्यावरण संतुलन बनाए रखने की जिम्मेदारी सिर्फ कोर्ट की नहीं है. लोगों को भी और ज्यादा संजीदा होने की जरूरत है. इसके साथ ही कोर्ट ने यह भी कहा कि आजकल बच्चो से ज्यादा बड़े पटाखें चलाते है, इसलिए लोगों को पर्यावरण के बारे में सोचने की जरूरत है. इसके साथ ही कोर्ट ने सभी राज्यों की सरकारों को वायु प्रदूषण और ध्वनि प्रदूषण पर लगाम लगाने के लिए जरूरी कदम उठाने के निर्देश दिए.