Bahraich violence : पिछले दिनों 13 अक्टूबर को दुर्गा प्रतिमा विसर्जन के दौरान बहराइच में दो समुदाय आमने-सामने आ गए थे. इसमें राम गोपाल मिश्रा नाम के एक युवक की गोली मारकर हत्या कर दी गई थी.
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अजय कश्यप/बरेली : बहराइच में दुर्गा प्रतिमा विसर्जन के दौरान हुई हिंसा में नामजद दो और आरोपितों को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है. बहराइच हिंसा के बाद से दोनों मुख्य आरोपी ननकऊ और मारुफ फरार चल रहे थे. मामले में अभी भी दो और आरोपी फरार चल रहे हैं. बहराइच पुलिस ने पूरे मामले में अब तक 14 मुकदमे दर्ज की है. इसमें से 117 आरोपितों को गिरफ्तार कर चुकी है.
दो और मुख्य आरोपी पकड़े गए
बता दें कि 13 अक्टूबर को दुर्गा प्रतिमा विसर्जन के दौरान हरदी के महाराजगंज मोहल्ले में दो समुदाय आमने-सामने आ गए थे. डीजे बजाने का विरोध करन पर पहले कहासुनी शुरू हुई. इसके बाद कुछ ही देर में दोनों तरफ से पथराव और ताड़फोड़ शुरू हो गई. हिंसा में रेहुवा के रहने वाले रामगोपाल मिश्रा की गोली मारकर हत्या कर दी गई. इसके बाद पुलिस ने मुख्य आरोपी अब्दुल हमीद और उसके बेटे सरफराज समेत 6 लोगों को गिरफ्तार कर ली थी.
देवराय जाने वाले रास्ते से किया गिरफ्तार
बीते दिनों पुलिस ने हिंसा में शामिल दो और मुख्य आरोपितों ननकऊ और मारुफ को देवराय जाने वाले रास्ते से गिरफ्तार कर लिया. हरदी थानाध्यक्ष कमल शंकर चतुर्वेदी ने बताया हिंसा के आरोपियों की वीडियो के आधार पर लगातार शिनाख्त कर गिरफ्तारी की जा रही है. पुलिस ने मुख्य आरोपी मोहम्मद तालीम और सरफराज पर 25-25 हजार और अब्दुल हमीद पर 10 हजार रुपये का इनाम घोषित किया गया था. इतना ही नहीं जिला प्रशासन ने मुख्य आरोपी अब्दुल हमीद का लाइसेंस भी निरस्त करने की कार्रवाई शुरू कर दी है. पुलिस और तहसील स्तर से जानकारी मांगी जा रही है. आरोप है कि जिस लाइसेंसी बंदूक से राम गोपाल मिश्रा की गोली मारकर हत्या की गई उसका लाइसेंस 1995 में मिला था.
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