PPF Vs FD: पीपीएफ या एफडी में से क्‍या बेहतर? फाइनेंश‍ियल गोल को ध्‍यान में रखकर ऐसे करें न‍िवेश
Advertisement
trendingNow11816589

PPF Vs FD: पीपीएफ या एफडी में से क्‍या बेहतर? फाइनेंश‍ियल गोल को ध्‍यान में रखकर ऐसे करें न‍िवेश

Public Provident Fund: आप पीपीएफ में सालाना न्यूनतम 500 रुपये और अधिकतम 1.5 लाख रुपये निवेश कर सकते हैं. यह पैसा आप एकमुश्‍त या अधिकतम 12 किश्त में जमा कर सकते हैं.

PPF Vs FD: पीपीएफ या एफडी में से क्‍या बेहतर? फाइनेंश‍ियल गोल को ध्‍यान में रखकर ऐसे करें न‍िवेश

PPF Interest Rate: अगर आप अपनी भव‍िष्‍य की जरूरतों को ध्‍यान में रखकर पीपीएफ (PPF) और एफडी (FD) में न‍िवेश करते हैं तो यह खबर आपके ल‍िए है. दरअसल, भारतीयों के बीच न‍िवेश के ल‍िए पीपीएफ और एफडी का ऑप्‍शन सबसे ज्‍यादा लोकप्र‍िय रहा है. आपके ल‍िए कौन सा व‍िकल्‍प बेहतर रहेगा, यह तय करना आपकी जरूरतों और लक्ष्यों पर निर्भर करता है. आइए दोनों के बारे में कारण सह‍ित जानते हैं-

पीपीएफ अकाउंट की न्यूनतम अवध‍ि 15 साल

पब्‍ल‍िक प्रोव‍िडेंट फंड (PPF) एक सरकार समर्थित टैक्‍स सेव‍िंग बचत योजना है. यह एक निवेश माध्यम के रूप में काम करता है जो आपको अपने सालाना करों को कम करने के साथ-साथ र‍िटायरमेंट के ल‍िए भी फंड जमा करने का ऑप्‍शन देता है. पीपीएफ अकाउंट के लिए न्यूनतम अवध‍ि 15 साल है. इसे आप अपनी पसंद के अनुसार पांच-पांच साल के ब्लॉक में बढ़ा सकते हैं. आप इसमें सालाना न्यूनतम 500 रुपये और अधिकतम 1.5 लाख रुपये निवेश कर सकते हैं. यह पैसा आप एकमुश्‍त या अधिकतम 12 किश्त में जमा कर सकते हैं.

100 रुपये से हो सकती है शुरुआत
खाता ओपन करने के ल‍िए आपको महज 100 रुपये की मासिक जमा राशि की जरूरत होती है. हालांकि, सालाना 1.5 लाख रुपये से अधिक के किसी भी निवेश पर ब्याज नहीं मिलेगा. साथ ही आप इस राशि पर टैक्‍स सेव‍िंग के ल‍िए पात्र नहीं होंगे. पीपीएफ खाते में 15 साल तक हर व‍ित्‍तीय वर्ष में आपको कम से कम एक बार पैसा जमा करना होगा. 

सेक्‍शन 80C के तहत टैक्‍स फ्री पैसा
दूसरी तरफ पीपीएफ में न‍िवेश करने का अलग फायदा है. इसमें आपकी इनकम और मैच्‍योर‍िटी राशि दोनों आयकर अधिनियम, 1961 के सेक्‍शन 80C के तहत टैक्‍स फ्री हैं. मौजूदा समय में सरकार की तरफ से पीपीएफ पर 7.1% की दर से ब्‍याज द‍िया जा रहा है. इस पर एक और फायदा यह है क‍ि आपको सालाना चक्रवृद्धि ब्‍याज (Compounding Interest) म‍िलता है.

सबसे सुरक्षित न‍िवेश है एफडी
दूसरी तरफ एफडी (FD), बैंकों और एनबीएफसी (NBFC) की तरफ से दी जाने वाली सेव‍िंग स्‍कीम है. एफडी को निवेश के सबसे सुरक्षित तरीकों में से एक माना जाता है. इस पर ब्याज दरें भारत सरकार की तरफ से तय की जाती हैं, जो न‍िवेशक को बाजार के उतार-चढ़ाव से बचाती हैं. एफडी की अवधि आपके निवेश के मकसद के आधार पर अलग- अलग हो सकती है. इसमें आप न्यूनतम 7 दिन से लेकर अधिकतम 10 साल तक न‍िवेश कर सकते हैं. एफडी पर अर्ध-वार्षिक, त्रैमासिक या मासिक आधार पर चक्रवृद्धि ब्याज मिलता है, जिसके बाद मूल राशि पर ज्‍यादा फायदा होता है. सीन‍ियर स‍िटीजन के ल‍िए ज्‍यादातर बैंक अध‍िक ब्‍याज दर की पेशकश करते हैं.

डेढ़ लाख तक का कर सकते हैं न‍िवेश
इसके अलावा कुछ एफडी मंथली पेआउट का भी ऑप्‍शन देती हैं. इस तरह की एफडी व्यक्तियों के लिए इनकम के एक व‍िश्‍वसनीय स्रोत के रूप में काम करती हैं. इसके अलावा, टैक्‍स सेव‍िंग एफडी आपकी इनकम टैक्‍स देनदारी को कम करने में मदद कर सकती हैं. निवेशक आयकर अधिनियम 1961 की धारा 80C के तहत 1,50,000 रुपये तक की टैक्‍स छूट की मांग कर सकते हैं.

पीपीएफ और एफडी में क्‍या बेहतर?
आख‍िर में पीपीएफ और एफडी में न‍िवेश के बीच व‍िकल्‍प का चयन करना हो तो यह आपके स्‍पेस‍िफ‍िक सेव‍िंग गोल पर निर्भर करता है. यदि आप फ्लैगज‍िब‍िल‍िटी के साथ एक न‍िश्‍च‍ित इनकम सोर्स और बेहतर रिटर्न चाहते हैं तो एफडी अच्छा ऑप्‍शन हो सकता है. हालांक‍ि यदि आप टैक्‍स बेन‍िफ‍िट के साथ लॉन्‍ग टर्म र‍िटायरमेंट सेव‍िंग को प्र‍ियोर‍िटी देते हैं तो पीपीएफ आपके लिए सबसे अच्छा विकल्प हो सकता है.

Trending news