China-Taiwan: अमेरिकी कांग्रेस की स्पीकर नैंसी पेलोसी के दौरे के बाद से ताइवान को डराने के लिए चीन भरसक प्रयत्न कर रहा है लेकिन उसे कामयाबी नहीं मिल पा रही है. क्या ऐसे में दुनिया एक और महायुद्ध की दिशा में आगे बढ़ रही है.
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China-Taiwan Crisis: दुनिया के ऊपर एक और महायुद्ध का खतरा मंडरा रहा है. अमेरिकी संसद की प्रतिनिधि सभा की स्पीकर नैंसी पेलोसी के ताइवान (Taiwan) दौरे के बाद से ही चीन (China) बड़े कदम उठाने की चेतावनी दे रहा है और उसकी तैयारियां भी युद्ध जैसी ही हैं. इसीलिए ये सवाल हर किसी को डरा रहा है कि क्या चीन ये तैयारी सिर्फ ताइवान और उसके साथियों को डराने के लिए कर रहा है या फिर वो सच में ताइवान पर हमला कर सकता है. इसी सवाल का जवाब तलाशने के लिए ज़ी न्यूज भी ताइवान में ग्राउंड जीरो पर मौजूद है.
क्या ताइवान पर हमला करने जा रहा चीन?
ये सवाल इसलिए भी बेहद महत्वपूर्ण हो जाता है, क्योंकि रूस और यूक्रेन के बीच तनाव के दौरान भी ऐसे ही सवाल पूछे गए थे. उनके उत्तर आज हम सबके सामने हैं. अब लोगों को यही डर है कि चीन भी रूस की ही तरह ताइवान (Taiwan) पर हमला कर सकता है और ये हमला कभी भी हो सकता है. अगर दोनों देशों के बीच युद्ध छिड़ता है, तो पूरी दुनिया को भारी नुकसान होने की गारंटी भी पक्की है. एक बड़ा प्रश्न ये भी है कि क्या ये युद्ध सिर्फ चीन और ताइवान के बीच की झड़प बन कर रह जाएगा या अमेरिका और जापान जैसे देश भी ताइवान की स्वतंत्रता के लिए चीन का सामना करेंगे. अगर ऐसा होता है तो फिर महायुद्ध का होना भी तय समझना चाहिए.
यानी इस मुद्दे पर कई ऐसे सवाल हैं, जो लोगों को डरा रहे हैं. इसीलिए हम ताइवान और चीन (China) के बीच जारी तनाव का विश्लेषण करेंगे और ये जानने की भी कोशिश करेंगे कि आखिर ताइवान के लोग इस बारे में क्या सोचते हैं. क्या उनको डर नहीं लगता है.
बुधवार रात चीन ने एक बार फिर अपने 17 विमान ताइवान (Taiwan) की सीमा के अंदर भेज दिए थे. जिसके बाद ताइवान ने भी पलटवार के लिए अपने फाइटर विमानों को भेजा और चीन के विमानों को वापस खदेड़ दिया.
नैंसी पेलोसी की यात्रा के बाद से बौखलाया हुआ है चीन
नैंसी पेलोसी के दौरे के बाद चीन की ये घुसपैठ इस तनाव की अगली कड़ी है. नैंसी पेलोसी की यात्रा पर भी चीन काफी नाराज हुआ था, लेकिन मिलिट्री ड्रिल के जरिए अपना गुस्सा जाहिर करने के अलावा उसने कोई और बड़ा कदम नहीं उठाया था. इसी वजह से माना जा रहा था कि हालात धीरे धीरे सामान्य हो जाएंगे और चीन (China) अपना आक्रामक रुख भी छोड़ देगा. लेकिन इसी सप्ताह अमेरिकी सांसदों का एक और प्रतिनिधिमंडल ताइवान पहुंच गया.15 दिनों के अंदर अमेरिका की इस हरकत से चीन बुरी तरह भड़क गया और उसने एक बार फिर युद्ध की धमकी दे डाली.
PLA में और सैनिक भर्ती करने की तैयारी
अब आपको चीन की सेना PLA के एक बड़े कदम की तरफ भी ध्यान देना चाहिए. ताइवान (Taiwan) से जारी तनाव के बीच चीनी सेना की पूर्वी कमान ने और ज्यादा भर्ती करने की तैयारी कर ली है. इसके लिए भर्ती की अधिकतम आयुसीमा में दो वर्ष की छूट दी गई है और अब इसे 24 वर्ष से बढ़ा कर 26 वर्ष कर दिया गया है. यानी अब ज्यादा से ज्यादा लोग सेना में शामिल होने के लिए आवेदन कर सकेंगे.
आपको बता दें कि PLA की यही पूर्वी कमान ताइवान समेत दक्षिण चीन सागर में आने वाले कई देशों की सीमाओं पर तैनात रहती है. फिलहाल चीन की सेना में 23 लाख सैनिक हैं और ये दुनिया की सबसे बड़ी सेना है. इसके बावजूद चीन (China) और ज्यादा सैनिक भर्ती करना चाहता है तो इससे उसके इरादों की झलक भी मिल जाती है.
ताइवान के लोग चीन को जवाब देने के लिए तैयार
हालांकि ताइवान (Taiwan) के लोग इससे बेफिक्र हैं और वो चीन के किसी भी हमले का मुंहतोड़ जवाब देने के लिए तैयार दिख रहे हैं. ताइवानीज़ पब्लिक ओपिनियन फ़ाउंडेशन सर्वे की एक रिपोर्ट के अनुसार ताइवान के 78 प्रतिशत लोगों ने बताया है कि उन्हें चीन की मिलिट्री ड्रिल से कोई डर नहीं लगता है फिर चाहे चीन ताइवान के ऊपर बैलिस्टिक मिसाइलें ही क्यों न दाग रहा हो. सिर्फ़ 17.02 प्रतिशत लोगों ने इस इस ड्रिल से भयभीत होने की बात मानी है. चीन ताइवान पर हमला करेगा या नहीं, इस सवाल के जवाब में 53 प्रतिशत ताइवानी मानते हैं कि चीन सिर्फ गीदड़भभकी दे रहा है और वो ताइवान पर हमला नहीं करेगा, जबकि 39 प्रतिशत लोगों ने चीन के साथ युद्ध की आशंका जाहिर की है.
इस सर्वे से ये साफ़ हो जाता है कि चीन का कोई भी पैंतरा ताइवान (Taiwan) पर काम नहीं कर रहा है. आज चीन (China) के पास दुनिया की सबसे बड़ी सेना है और वो अपनी तुलना सुपर पॉवर अमेरिका से करता है. वहीं चीन से करीब 265 गुना छोटा होने के बावजूद ताइवान आज निडर खड़ा है और चीन को चुनौती दे रहा है.
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