धार्मिक मान्यता है कि जिस स्थान पर कछुआ रहता है, वहां मां लक्ष्मी का वास करती हैं. कछुआ यंत्र को लगाने से व्यापार में आर्थिक उन्नति होती रहती है.
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नई दिल्ली: धार्मिक मान्यताओं के मुताबिक कछुआ भगवान विष्णु का एक रूप है. समुद्र मंथन के समय भगवान विष्णु ने कछुए का रूप धारण कर समुद्र मंथन के समय मंदराचल पर्वत को अपने कवच पर थामा था. मान्यता है कि जहां कछुआ रहता है वहां मां लक्ष्मी का भी वास होता है. ऐसे में कछुआ यंत्र को व्यापार स्थल पर रखने से धन में बरकत होती है. साथ ही व्यापार में आर्थिक लाभ भी होता है. ऐसे में जानते हैं बिजनेस में वृद्धि के लिए कछुआ यंत्र के बारे में.
कछुआ यंत्र की स्थापना शुक्रवार या किसी माह की पूर्णिमा के दिन करना अच्छा रहता है. इसके अलावा किस अन्य शुभ मुहूर्त पर भी इसकी स्थापना की जा सकती है.
अगर बिजनेस में कठिन परिश्रम करने के बाद भी सफलता नहीं मिलती है. ऐसे में व्यापार स्थल पर कछुआ यंत्र की स्थापना करनी चाहिए. इस यंत्र के प्रभाव से व्यापार में आ रही समस्याओं का निदान हो जाता है. साथ ही व्यापार में आर्थिक उन्नति होती है. इसके अलावा कामकाज में मन लगता है. साथ ही लेनदेन में भी शुभ परिणाम मिलता है.
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अगर लगातार बिजनेस में घाटा हो रहा है या बिजनेस को आगे बढ़ाने चाहते हैं तो ऐसे में कछुआ यंत्र को ऑफिस या दुकान में स्थापित करें. ऐसा करने से धन लाभ होता है. साथ ही धन से जुड़ी समस्या धीरे धीरे खत्म होन लगती है.
(Disclaimer: यहां दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. ZEE NEWS इसकी पुष्टि नहीं करता है.)