Trending Photos
Hartalika Teej Upay: हर साल भाद्रपद में आने वाली शुक्ल पक्ष की तृतीया तिथि को हरतालिका तीज मनाई जाती है. ऐसे में सुहागन महिलाएं भगवान शिव और माता पार्वती का पूजन कर अपने पति की लंबी आयु की कामना करती हैं. इस बार हरतालिका तीज आने वाली 6 सितंबर को मनाई जाएगी. इस दिन महिलाएं अपने पति की लंबी आयु की कामना करने के लिए पूजा-पाठ के साथ पूरे दिन उपवास रखती हैं, सोहल श्रृंगार करती हैं.
तीज पर सोहल श्रृंगार का अपना एक अलग ही महत्व है. यह दिन प्राचीन काल से मनाया जा रहा है और यह माता पार्वती को समर्पित है. यह इसलिए भी खास है कि इस दिन महिलाएं ऐसी कामना करती हैं कि उनका जीवन भी देवी पार्वती और भगवान शिव के रिश्ते की तरह हो. इस दिन जो महिलाएं माता पार्वती को ध्यान में रखकर 16 श्रृंगार करती हैं उन्हें भगवान से अखंड सौभाग्य का आशीर्वाद मिलता है.
इसलिए रखा जाता है हरतालिका तीज का व्रत
16 श्रृंगार में सिंदूर, मंगलसूत्र, बिछिया, पांव में महावर, नेल पेंट, काजल, लिपिस्टिक, वस्त्र, चूड़ी, मेहंदी, बिंदी, गजरा पायल, अंगूठी, बाजूबंद, कमरबंद और हार को गिना जाता है. बता दें कि 6 सितंबर को सभी सुहागन महिलाएं हरतालिका तीज का व्रत रखेंगी. ऐसे में महिलाएं पति की लंबी आयु की कामना करने के लिए मां पार्वती की पूजा करेंगी. मान्यता है कि मां पार्वती अखंड सौभाग्य देने वाली होती हैं. अखंड सौभाग्यवती का मतलब है कि महिलाएं इस दिन कामना करती है कि जब भी वह इस दुनिया से जाएं, सुहागन ही जाएं. हिंदू धर्म शास्त्रों में इसका काफी महत्व माना गया है.
अखंड सौभाग्य का मिलता है आशीर्वाद
ज्योतिष शास्त्र के अनुसार हरतालिका तीज पर महिलाएं मां पार्वती को 16 श्रृंगार पूजा में अर्पित करती हैं. साथ ही, उनसे यह कामना करती हैं कि सदा सुहागिन ही रहें. माना जाता है कि इस दिन महिलाएं 16 श्रृंगार अर्पित करने के साथ खुद भी सजती -संवरती हैं और माता से अखंड सौभाग्यवती होने का आशीर्वाद मांगती है.इस दिन व्रत रखने से दांपत्य जीवन मजबूत और खुशहाल होता है. साथ ही, भगवान शिव और मां पार्वती की तरह ये रिश्ता अटूट होता है. इस व्रत को रखते समय हर महिला यही कामना करती है कि जीवनभर अपने पति के साथ खुशहाल रहे.
(Disclaimer: यहां दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. ZEE NEWS इसकी पुष्टि नहीं करता है.)