Vladimir Putin attack on US: इजरायल और हमास के बीच जारी युद्ध पर रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन (Vladimir Putin) ने चुप्पी तोड़ी है और इसके लिए अमेरिका को जिम्मेदार ठहराते हुए कहा है कि यह हिंसा अमेरिका के मध्य-पूर्व में विफलताओं को दर्शाती है.
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Vladimir Putin on Israel Hamas War: इजरायल और हमास के बीच युद्ध पिछले 5 दिनों से जारी है और अब तक इसमें हजारों लोगों की मौत हो चुकी है. इस बीच रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन (Vladimir Putin) ने इजरायल हमास युद्ध पर अपनी चुप्पी तोड़ी है और अमेरिका को जिम्मेदार ठहराते हुए बड़ा बयान दिया है. पुतिन ने कहा कि ये युद्ध अमेरिकी विदेश नीति की असफलता का परिणाम है. हिंसा अमेरिका के मध्य-पूर्व में विफलताओं को दर्शाती है. इसके साथ ही उन्होंने फिलिस्तीन के निर्माण को आवश्यक बताते हुए उसके हक का समर्थन किया.
पुतिन ने अमेरिका पर बोला बड़ा हमला
रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन (Vladimir Putin) ने इजरायल हमास के बीच चल रहे युद्ध को लेकर अमेरिका पर बड़ा हमला बोला है. पुतिन ने अमेरिकी नीति की विफलताओं को जिम्मेदार ठहराते हुए कहा, , 'मुझे लगता है कि कई लोग मुझसे सहमत होंगे कि यह मध्य पूर्व में संयुक्त राज्य अमेरिका की नीति की विफलता का एक स्पष्ट उदाहरण है, जिसने समाधान पर एकाधिकार करने की कोशिश की, लेकिन, दुर्भाग्य से दोनों पक्षों के लिए स्वीकार्य समझौते खोजने की चिंता नहीं की. बल्कि, इसके विपरीत ये कैसे किया जाना चाहिए इसके बारे में अपने विचारों को बढ़ावा दिया और दोनों पक्षों को दबाव में रखा.'
कई देशों ने किया इजरायल का समर्थन
हमास की हैवानियत की तस्वीर दुनिया के सामने आ गई है और इजरायल हमास को उसकी गलती का अहसास भी दिला रहा है. हमास पर पलटवार में इजरायल को पूरी दुनिया का साथ भी मिल रहा है और कई देशों ने खुलकर उसका समर्थन किया है. अमेरिका के अलावा ब्रिटेन, फ्रांस, जर्मनी, इटली और कनाडा जैसे देश इजरायल के समर्थन में खड़े हैं.
बेंजामिन नेतन्याहू ने हमास को ISIS से बदतर बताया
इस बीच इजरायली प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ने जो बाइडेन से बात की है और इस दौरान उन्होंने हमास को ISIS से भी बदतर बताया. उन्होंने कहा कि इतिहास में ऐसी बर्बरता कभी नहीं देखी गई. नेतन्याहू ने बाइडेन से कहा, 'वे आईएसआईएस से भी बदतर हैं और हमें उनके साथ वैसा ही व्यवहार करने की जरूरत है हमने राज्य के इतिहास में ऐसी हैवानियत कभी नहीं देखी. उन्होंने दर्जनों बच्चों को कब्जे में ले लिया, उन्हें बांध दिया, जला दिया और मार डाला. उन्होंने सैनिकों के सिर काट दिए, प्रकृति उत्सव में आए युवाओं को कुचल दिया.'