कोलकाता: भारतीय टीम से बाहर किये गये रिद्धिमान साहा अपने क्रिकेट करियर के अंतिम सालों में बेहद बुरे दौर से गुजरे. उन्हें टीम इंडिया से भी बाहर होना पड़ा और उनकी अपने ही राज्य क्रिकेट संघ से भी तकरार हो गई.
साहा को शनिवार को बंगाल क्रिकेट संघ (कैब) ने एनओसी (अनापत्ति पत्र) दे दी जिससे उनका संघ से 15 साल का जुड़ाव कटु परिस्थितियों में खत्म हो गया. अब वे बंगाल के लिए घरेलू क्रिकेट में नजर नहीं आएंगे.
टीम इंडिया में वापसी के दरवाजे बंद
40 टेस्ट के अनुभवी साहा को भारतीय टीम प्रबंधन ने स्पष्ट कह दिया था कि उन्हें उम्रदराज दूसरे विकेटकीपर की जरूरत नहीं है. तब से साहा बीसीसीआई अध्यक्ष सौरव गांगुली की आलोचना कर रहे थे और शुरू में उन्होंने मुख्य कोच राहुल द्रविड़ के बारे में कुछ ऐसा ही कहा था.
बंगाल क्रिकेट से तोड़ लिया रिश्ता
कैब ने कहा कि रिद्धिमान साहा कैब कार्यालय आये और अध्यक्ष अविषेक डालमिया को एक आवेदन से संघ से एनओसी मांगी. कैब ने साहा के अनुरोध पर उन्हें दूसरे राज्य के लिये खेलने के लिये एनओसी प्रदान की. कैब ने उन्हें भविष्य के लिये शुभकामनायें भी दीं.
रिद्धिमान साहा का क्रिकेट करियर
रिद्धिमान साहा ने अपने क्रिकेट करियर में 40 टेस्ट, 9 वनडे और 144 आईपीएल मैच खेले. उन्होंने टेस्ट में 3 शतक और 6 अर्धशतक की मदद से 1353 रन बनाए. वनडे में साहा का प्रदर्शन बेहद खराब रहा. 5 पारियों में उनके बल्ले से केवल 41 रन ही निकले. इस दौरान उनका उच्चतम स्कोर महज 16 रन का रहा.
रिद्धिमान साहा ने 2010 में दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ टेस्ट डेब्यू किया था. उन्होंने आखिरी टेस्ट पिछले साल दिसंबर में न्यूजीलैंड के खिलाफ खेला था.
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