कश्मीर पर बोला तालिबान- हमारे पास सभी मुसलमानों की आवाज उठाने का अधिकार

तालिबान के प्रवक्ता सुहैल शाहीन ने कहा है कि उनके पास जम्मू-कश्मीर के मुसलमानों के लिए आवाज उठाने का अधिकार है. 

Written by - Zee Hindustan Web Team | Last Updated : Sep 3, 2021, 10:31 PM IST
  • मुसलमानों की आवाज उठाने का अधिकार- सुहैल शाहीन
  • पंजशीर में तालिबान ने किया जीत का दावा
कश्मीर पर बोला तालिबान- हमारे पास सभी मुसलमानों की आवाज उठाने का अधिकार

नई दिल्ली: अफगानिस्तान पर कब्जे के बाद अब तालिबान सरकार गठन करने की तैयारी कर रहा है. भारत सरकार ने भी तलिबान की गतिविधियों पर नजर बना रखी है. तालिबान आने वाले समय में भारत और भारतीय के साथ कैसा व्यवहार करता है, इसे लेकर उहापोह की स्थिति बनी हुई है. इस बीच तालिबान ने कश्मीर को लेकर बड़ा बयान दिया है. 

मुसलमानों की आवाज उठाने का अधिकार- सुहैल शाहीन

तालिबान के प्रवक्ता सुहैल शाहीन ने कहा है कि उनके पास जम्मू-कश्मीर के मुसलमानों के लिए आवाज उठाने का अधिकार है. एक वीडियो इंटरव्यू में सुहैल शाहीन ने अमेरिका के साथ हुए दोहा समझौते की बात करते हुए कहा कि किसी भी देश के खिलाफ सशस्त्र अभियान चलाना उनकी नीति का हिस्सा नहीं है.

दोहा से बात करते हुए शाहीन ने कहा कि एक मुसलमान के तौर पर, भारत के कश्मीर में या किसी और देश में मुस्लिमों के लिए आवाज़ उठाने का अधिकार हमारे पास है. हम आवाज उठाएँगे और कहेंगे कि मुसलमान आपके लोग है, अपने देश के नागरिक हैं. आपके कानून के मुताबिक वो समान हैं.

भारत कुछ समय से अंतरराष्ट्रीय स्तर पर सुर्खियों में रहा है, आलोचकों का कहना है साल 2014 के बाद से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व वाली सरकार के कार्यकाल में मुस्लिमों के खिलाफ नफरत बढ़ी है, हालांकि बीजेपी इन आरोपों से इनकार करती रही है.

पंजशीर में तालिबान ने किया जीत का दावा

पंजशीर इलाके में तालिबान ने अपनी जीत का दावा किया है. तालिबान का कहना है कि पंजशीर में उसने लड़ाकों को मात दे दी है और उनके हथियार जब्त कर लिये हैं. इससे पहले अफगानिस्तान की पंजशीर घाटी में तालिबान से जंग लड़ रही अहमद मसूद की रेजिस्टेंस फोर्स ने दावा किया था कि उसने तालिबान के खिलाफ अच्छी बढ़त बना ली है. 

साथ ही ये भी खबर आई कि अमरुल्लाह सालेह पंजशीर छोड़कर ताजिकिस्तान भाग गये हैं लेकिन उन्होंने खुद दावा किया है कि वे अभी भी पंजशीर में डटे हुए हैं और पूरे पंजशीर पर हमारा ही कब्जा है.

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15 अगस्त को अफगानिस्तान के पूर्व राष्ट्रपति अशरफ गनी के देश से भाग जाने के बाद अमरुल्लाह सालेह ने देश के संविधान के अनुसार खुद को अफगानिस्तान का वैध कार्यवाहक राष्ट्रपति घोषित किया था. 

अमरुल्लाह सालेह ने ट्वीट किया था कि तालिबान ने पंजशीर में दवाओं की सप्लाई पर रोक लगा दी है. साथ ही उसने यहां पर बिजली भी बंद कर दी है. इसके अलावा यात्रियों के प्रति भी गलत बर्ताव किया जा रहा है. लोगों को कुछ ही पैसे लेकर यात्रा करने की इजाजत है. सालेह ने लिखा है कि तालिबान यहां पर युद्ध अपराध को अंजाम दे रहे हैं. वह अंतर्राष्ट्रीय मानवाधिकार मूल्यों को जरा सी भी तरजीह नहीं दे रहे हैं. 

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