IGMC Shimla News: आईजीएमसी शिमला के 132 कर्मचारियों की सेवाएं समाप्त हो गई हैं, जिसके विरोध में शुक्रवार यानी कल से आउटसोर्स कर्मचारी अस्पताल में हड़ताल करेंगे. इस दौरान स्वास्थ्य सेवाएं भी प्रभावित होंगी.
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समीक्षा कुमारी/शिमला: हिमाचल प्रदेश के सबसे बड़े नामी स्वास्थ्य संस्थान आईजीएमसी के 132 कर्मचारियों की सेवाएं समाप्त हो गई हैं. इसके विरोध में कल आउटसोर्स कर्मचारियों की अस्पताल में हड़ताल होगी. इससे अस्पताल की स्वास्थ्य सेवाएं बुरी प्रभावित होंगी. IGMC में 132 आउटसोर्स कर्मियों की सेवाएं समाप्त करने के विरोध में यह अनिश्चितकालीन हड़ताल होगी. आउटसोर्स कर्मियों से जुड़ी यूनियन ने आज गेट मीटिंग में यह निर्णय लिया है.
यूनियन के मुताबिक अस्पताल प्रशासन और सरकार के रवैये से सैकड़ो परिवारों की रोजी-रोटी खतरे में पड़ गई है, जिन कर्मियों की सेवाएं समाप्त की गई हैं, उनमें वार्ड अटेंडेंट से लेकर महिला सफाई कर्मी तक शामिल हैं. आज इन कर्मचारियों ने अस्पताल परिसर में अपनी मांगों को लेकर गेट मींटिंग की, जिसमें यह निर्णय हुआ कि कल से सभी आउटसोर्स कर्मचारी हड़ताल पर चले जाएंगे.
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सफाई कर्मचारी यूनियन की उपाध्यक्ष निशा ने बताया कि उन्हें सुपरवाइजर के माध्यम से उनकी सेवाएं समाप्त करने का नोटिस मिला है, जिसके तहत 1 जनवरी से उनकी रोजी रोटी खत्म हो गई है. उन्होंने कहा कि इसमें कई विधवा महिलाएं शामिल हैं, जो वर्षों से यहां सेवाएं दे रही हैं. निशा ने बताया कि इसे लेकर उन्होंने अस्पताल प्रबंधन से बातचीत करने का प्रयास किया, लेकिन उनका रवैया कर्मचारियों के प्रति नकारात्मक है, जिसके कारण उन्होंने कल से हड़ताल पर जाने का निर्णय किया है. उनके समर्थन में सभी आउट सोर्स कर्मचारी हड़ताल पर जांएगे.
वहीं, IGMC वर्कर्स यूनियन के सदस्य वीरेंद्र ने कहा कि नौकरी से निकाले गए 132 ऑउटसोर्स कर्मचारियों के समर्थन में IGMC के सभी 500 से 600 ऑउट सोर्स कर्मचारी हड़ताल पर जाएंगे. इसके साथ ही कहा कि फिलहाल IGMC के कर्मचारी हड़ताल शुरू करेंगे, लेकिन अगर इन 132 कर्मचारियों की सेवाएं बहाल नहीं हुई तो अन्य सबंधित यूनियन भी IGMC में आकर विरोध प्रदर्शन में शामिल होंगी. कल से पूरी तरह सेवाएं बंद रहेंगी.
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बता दें, IGMC में कुल डॉक्टर्स के 50 प्रतिशत यानी 151 डॉक्टर पहले ही विंटर वेकेशन पर हैं, जिसके कारण अस्पताल में मरीजों की लंबी कतारें लग रही हैं. वहीं, अब कल से ऑउटसोर्स कर्मचारियों के हड़ताल पर जाने से व्यवस्थाएं पूरी तरह चरमरा जाएंगी. ओपीडी में सफाई नहीं होगी. वार्ड अटेंडेंट, सुरक्षा कर्मी, OTT बॉय अपनी सेवाएं नहीं देंगे, जिसके कारण अस्पताल में स्वास्थ्य संकट खड़ा होने के आसार हैं.
बता दें, IGMC हिमाचल प्रदेश का सबसे प्रीमियम स्वास्थ्य संस्थान है. इसे हिमाचल प्रदेश का PGI भी कहा जाता है. प्रदेश के दुर्गम क्षेत्रो से यहां मरीज उपचार के लिए रोजाना पहुंचते हैं. यहां रोजाना प्रदेश भर से 3200 से 3500 मरीज ओपीडी में इलाज के लिए पहुंचते हैं.
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