New Wage code: 1 मई से हाथ में आएगी कम सैलरी, पीएफ में जाएगा ज्यादा हिस्सा
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New Wage code: 1 मई से हाथ में आएगी कम सैलरी, पीएफ में जाएगा ज्यादा हिस्सा

वित्तीय वर्ष 2021-22 (Financial Year 2021-22) की शुरुआत के साथ ही बहुत बड़ा बदलाव होने जा रहा है. लगभग तय माना जा रहा है कि मोदी सरकार नए श्रम कानून (New wage Code 2021) 1 अप्रैल से लागू कर सकती है. इसका मतलब ये होगा कि 1 मई से आपको थोड़ा फायदा तो जरूर होगा लेकिन हाथ में थोड़ी कम सैलरी भी आएगी.

1 अप्रैल से लागू हो जाएंगे नए श्रम कानून (फाइल फोटो)

दिल्ली: मोदी सरकार नए श्रम कानून (New wage Code 2021) 1 अप्रैल से लागू कर सकती है. ये कानून संसद से पहले ही पास हो चुके हैं और अब इन्हें लागू करने की घड़ी भी नजदीक आ गई है. सरकार ने चारों नए श्रम कानून को अगले महीने की पहली तारीख से लागू करने का मन बना लिया है. अगर ऐसा होता है तो आपको थोड़ा फायदा और थोड़ा नुकसान होना तय है.

  1. नए श्रम कानून लागू करने की तैयारी
  2. 1 अप्रैल से लागू हो सकते हैं नए कानून
  3. बदल जाएगी सैलरी स्लिप

हाथ में आएगी कम सैलरी

नए वेज कोड के मुताबिक CTC (Cost to Company) में मूल वेतन 50 फीसदी से कम नहीं होना चाहिए. बाकी 50 फीसदी में महंगाई, किराया समेत दूसरे भत्ते होंगे. इसका असर ये होगा कि आपकी सैलरी का 50 फीसदी हिस्सा मूल वेतन होने की वजह से पीएफ की हिस्सेदारी बढ़ जाएगी लेकिन इससे आपको थोड़ा नुकसान भी होगा. आपके हाथ में पहले के मुकाबले थोड़ी कम सैलरी आएगी जिससे आपको घर चलाने में थोड़ी परेशानी हो सकती है.

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पीएफ में जाएगा ज्यादा हिस्सा

मान लीजिए कि आपकी कुल सैलरी 50 हजार रुपये है तो उसमें से नए कानून के मुताबिक 50 फीसदी यानी 25 हजार रुपये मूल वेतन होगा. नियमों के मुताबिक 12+12 कुल 24 फीसदी हिस्सा भविष्य निधि खाते में भेजा जाएगा. इसका मतलब ये होगा कि करीब 6000 रुपये आपकी सैलरी में से पीएफ में चले जाएंगे. हाथ में सैलरी कम आने से आपको लगेगा कि आपका नुकसान हो रहा है लेकिन भविष्य निधि खाते में आपका ज्यादा रुपया जमा होगा और वो आपके भविष्य के लिए काफी काम आएगा.

पीएफ पर ब्याज का गणित समझिए

सरकार हर साल EPFO के लिए ब्याज दर तय करती है. इस साल EPF खातों पर 8.5 फीसदी की ब्याज दर तय की गई है. जितना रुपया पीएफ खाताधारक खाते में जमा करते हैं उस पर सरकार ब्याज देती है और फिर उसे अगले साल के मूलधन में जोड़ दिया जाता है. इस तरह चक्रवृद्धि ब्याज का फायदा खाताधारक को मिलता है. आम तौर पर ईपीएफ खातों पर अन्य खातों के मुकाबले ज्यादा ब्याज मिलता है जो कर्मचारियों के लिए बड़ी राहत की बात है.

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