केंद्र सरकार ने लोकल के लिए वोकल अभियान की शुरुआत आत्मनिर्भर भारत के तहत की है.
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नई दिल्लीः केंद्र सरकार ने लोकल के लिए वोकल अभियान की शुरुआत आत्मनिर्भर भारत के तहत की है. लॉकडाउन के बाद अगर आप बेरोजगार हो गए हैं और थोड़ी बहुत जमा पूंजी के साथ अपना व्यापार शुरू करना चाहते हैं, तो फिर कुल्हड़ का बिजनेस शुरू कर सकते हैं. यह कारोबार काफी कम पूंजी के साथ शुरू किया जा सकता है.
क्या होगा फायदा
आजकल बाजार में लोग कुल्हड़ या फिर मिट्टी के बने गिलास में चाय व दूध पीना पसंद कर रहे हैं. वहीं रेलवे स्टेशन, बस अड्डा, हवाई अड्डे और छोटी-मोटी नुक्कड़ पर खुली दुकानों में भी मिट्टी से बने गिलास और कुल्हड़ का प्रयोग ज्यादा होने लगा है.
सरकार ने लागू की है ये योजना
पीएम नरेंद्र मोदी ने कुल्हड़ के बिजनेस को बढ़ावा देने के लिए कुम्हार सशक्तीकरण योजना लागू की है. इसके तहत सरकार कुम्हारों को इलेक्ट्रिक चाक देती है ताकि वे इससे कुल्हड़ बना सकें. बाद में सरकार उन कुल्हड़ों को अच्छी कीमत पर खरीद लेती है.
कुल्हड़ बनाने के लिए चाहिए छोटा सा स्पेस
आपको थोड़े स्पेस की जरूरत पड़ेगी. स्पेस के लिए प्रॉम्पट लोकेशन होना जरूरी नहीं है. खादी ग्रामोद्योग आयोग के चेयरमैन विनय कुमार सक्सेना के मुताबिक, इस साल सरकार ने 25 हजार इलेक्ट्रिक चाक बांटने का लक्ष्य तय किया है.
कितनी होगी कमाई
चाय के कुल्हड़ की कीमत मिनिमम 50 रुपए सैकड़ा, लस्सी के कुल्हड़ की 150 रुपए सैकड़ा, दूध के कुल्हड़ की 150 रुपए सैकड़ा और प्याली 100 रुपए सैकड़ा चल रही है. डिमांड बढ़ने पर आपको और अच्छा रेट मिल सकता है.
कुल्हड़ चाय का बिजनेस
कुल्हड़ की सप्लाई के साथ आप कुल्हड़ चाय या फिर दूध का बिजनेस भी कर सकते हैं. यह बिजनेस भी 5 हजार रुपये से शुरू हो सकता है. कुल्हड़ चाय की शहरों में कीमत 10 से 20 रुपये है. कुल्हड़ चाय के बिजनेस में भी 1 दिन में 1000 रुपये के आसपास बचत होती है. इस हिसाब से आप महीने में 30 हजार रुपये की अतिरिक्त कमाई कर सकते हैं.
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