Free Ration Scheme: फ्री राशन के नियमों में हुआ बड़ा फेरबदल, करोड़ों कार्डधारकों को नहीं मिलेगा राशन!
Advertisement
trendingNow11476356

Free Ration Scheme: फ्री राशन के नियमों में हुआ बड़ा फेरबदल, करोड़ों कार्डधारकों को नहीं मिलेगा राशन!

Free Ration Scheme Latest News: राशन के नियमों में समय-समय (Ration Card New Rules) पर बदलाव किया जाता रहा है. अगर आप भी फ्री राशन (Free Ration) वाली सुविधा का फायदा ले रहे हैं तो अब इसमें बड़ा बदलाव हो गया है, जिसका असर यूपी-दिल्ली समेत कई राज्यों के राशनकार्ड धारकों पर होगा.

Free Ration Scheme: फ्री राशन के नियमों में हुआ बड़ा फेरबदल, करोड़ों कार्डधारकों को नहीं मिलेगा राशन!

Free Ration Rules Changed: राशन के नियमों में समय-समय (Ration Card New Rules) पर बदलाव किया जाता रहा है. अगर आप भी फ्री राशन (Free Ration) वाली सुविधा का फायदा ले रहे हैं तो अब इसमें बड़ा बदलाव हो गया है, जिसका असर यूपी-दिल्ली समेत कई राज्यों के राशनकार्ड धारकों पर होगा. बता दें कई राज्यों में फ्री राशन स्कीम के तहत गेहूं न देने की बात कही गई है यानी कि अब आपको फ्री राशन स्कीम के तहत गेहूं मिलना थोड़ा मुश्किल है. 

क्या हुआ है बदलाव?
सरकार की ओर से किए गए इस बदलाव के पीछे मुख्य वजह गेहूं की कमी होना है. राज्य सरकारों ने कहा है कि कार्डधारकों को गेहूं की जगह पर चावल का वितरण किया जाएगा. पीएमजीकेएवाई (PMGKAY) योजना के तहत गेहूं की जगह पर चावल का वितरण किया जाएगा. 

क्यों लिया गया है यह फैसला?
इसके अलावा कई राज्यों में राशनकार्डधारकों को गेहूं पहले की तुलना में कम दिया जाएगा और उसकी जगह पर चावल का वितरण किया जाएगा. गरीब कल्याण अन्न योजना के तहत पात्र राशनकार्डधारकों को फ्री में गेहूं और चावल दिया जाता है, लेकिन इस समय देश में गेहूं की कमी होने की वजह से कई राज्य सरकारों की तरफ से यह फैसला लिया गया है. 

किस राज्य के लाभार्थियों को नहीं मिलेगा गेहूं?
राशन कार्डधारकों को उत्तर प्रदेश, केरल और बिहार राज्यों के राशन कार्डधारकों को गेहूं का वितरण नहीं किया जाएगा. इसके अलावा उत्तराखंड, गुजरात, झारखंड, दिल्ली, मध्य प्रदेश और पश्चिम बंगाल के कार्डधारकों को पहले की तुलना में कम गेहूं मिलेगा. 

55 लाख मीट्रिक टन ज्यादा चावल का होगा वितरण
बता दें इन सभी राज्यों के कार्डधारकों को गेहूं की जगह पर ज्यादा चावल का वितरण किया जाएगा. इसके अलावा अन्य राज्यों में किसी भी तरह का परिवर्तन नहीं किया गया है. देश में गेहूं की खरीद कम होने की वजह से यह निर्णय लिया गया है. इस फैसले के बाद करीब 55 लाख मीट्रिक टन ज्यादा चावल का वितरण होगा. 

पाठकों की पहली पसंद Zeenews.com/Hindi - अब किसी और की ज़रूरत नहीं

Trending news