Ration Card Latest News: सरकार की तरफ से 70 लाख राशन कार्ड धारकों को संदिग्ध की सूची में रखा गया है. एक रिपोर्ट के आधार पर राज्यों से इन 70 लाख कार्ड धारकों की हकीकत का पता लगाने के लिए कहा गया है.
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Ration Card Cancellation: आप भी यदि राशन कार्ड धारक हैं और सरकारी राशन की दुकान से सस्ता राशन लेते हैं तो यह खबर आपके काम की है. केंद्र की मोदी सरकार की तरफ से बड़ा कदम उठाया गया है. सराकर ने नेशनल फूड सिक्योरिटी एक्ट (NFSA) के तहत फायदा पाने वाले 70 लाख लाख कार्ड धारकों को संदिग्धों (suspect) में शामिल किया है. सरकार की तरफ से इस डाटा को ग्राउंड वेरिफिकेशन के लिए राज्यों के साथ भेजा गया है.
संदिग्धों की सूची में 70 लाख राशन कार्ड धारक
ग्राउंड वेरिफिकेशन से यह जानकारी हो सकेगी कि जिन नामों को संदिग्ध की सूची में शामिल किया गया है वे NFSA के तहत राशन पाने के लिए पात्र हैं या नहीं. फूड सेक्रेटरी सुधांशु पांडे ने बताया कि इस तरह साल 2013 से 2021 के बीच 4.74 करोड़ राशन कार्ड को रद्द किया गया है. इस बार भी सरकार ने 70 लाख राशन कार्ड धारकों को संदिग्धों की सूची में रखा है. इस डाटा में शामिल नामों की सही जानकारी जुटाई जा रही है.
नए पात्रों को दिया जाएगा मौका
पांडे ने कहा यदि 70 लाख में से 50 प्रतिशत भी नियमानुसार सही नहीं पाए गए तो उनकी जगह कैंसल करके नए पात्रों को मौका दिया जाएगा. यह हर साल चलने वाली प्रक्रिया है. उन्होंने यह भी बताया कि सरकार की तरफ से पिछले 9 साल इस प्रक्रिया के तहत 4.74 करोड़ राशन कार्ड को रद्द किया गया है. इससे कुल 19 करोड़ लोग लाभान्वित हुए हैं. राशन कार्ड रद्द होने के बाद उनकी जगह नए पात्रों के नाम जोड़े जाते हैं.
दरअसल, यह प्रक्रिया सरकार की तरफ से हर साल चलाई जाती है. सुधांशु पांडे ने बताया कि हो सकता है आज कोई व्यक्ति राशन योजना के लिए पात्र हो. लेकिन कुछ समय बाद वह इसके लिए पात्र न रहे. ऐसे में उसका नाम सूची से हटाकर उसकी जगह दूसरे को मौका दिया जाए.
फूड मिनिस्ट्री की तरफ से जारी आंकड़ों के अनुसार पिछले 9 साल में 4.74 करोड़ राशन कार्ड रद्द हुए हैं. साल 2016 में सबसे ज्यादा 84 लाख राशन कार्डों को रद्द किया गया. कोविड महामारी के दौरान 2020 और 2021 में 46 लाख राशन कार्ड रद्द किए गए.
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