भारतमाला प्रोजेक्ट के दूसरे चरण में 3 हजार किलोमीटर सड़क और 4 हजार किलोमीटर ग्रीन फील्ड हाइवे बनाने का लक्ष्य रखा गया है.
Trending Photos
नई दिल्ली: भारतमाला प्रोजेक्ट मोदी सरकार की महत्वपूर्ण और महत्वाकांक्षी परियोजनाओं में से एक है. इस योजना के तहत पूरे देश में हाइवे का विस्तार किया गया. नितिन गडकरी की अगुवाई में सड़क परिवहन मंत्रालय ने शानदार काम किया है. इस योजना के तहत मोदी सरकार ने 2017-18 से 2021-22 के बीच 24,800 किलोमीटर सड़क बनाने की योजनाओं को मंजूरी दी है. अगले पांच सालों में बॉर्डर से सटे इलाकों, इंटरनेशनल कनेक्टिविटी रोड, कोस्टल रोड, पोर्ट कनेक्टिंग रोड और रिंग रोड का विस्तार और निर्माण किया जाएगा.
भारतमाला प्रोजेक्ट के दूसरे चरण में करीब 3 हजार किलोमीटर सड़क और 4 हजार किलोमीटर ग्रीन फील्ड हाइवे बनाने का लक्ष्य रखा गया है. 44 नए इकोनॉमिक कॉरिडोर बनाए जाएंगे. नेशनल हाइवे अथॉरिटी ऑफ इंडिया (NHAI) ने दूसरे चरण के लिए बोली बुलाई है, ताकि पहले चरण का काम जल्द से जल्द पूरा किया जा सके. ICRA के बयान के मुताबिक, इस प्रोजेक्ट में प्राइवेट इंवेस्टमेंट करीब 1 लाख करोड़ का होगा. इसके अलावा टॉल ऑपरेट ट्रांसफर की मदद से 34 हजार करोड़ रुपये कलेक्ट किए जाएंगे.
7 लाख करोड़ के मेगा हाईवे प्लान को कैबिनेट मंजूरी, 5 साल में बनेंगे 83000 KM हाईवे
दूसरे चरण में वाराणसी-रांची-कोलकाता, इंदौर-मुंबई, बेंगलुरू-पुणे और चेन्नई-त्रिची के बीच हाइवे का निर्माण किया जाएगा.इस प्रोजेक्ट के पूरा होने पर माल ढुलाई का 70 से 80 फीसदी काम नेशनल हाइवे से होने लगेगा. वर्तमान में केवल 40 फीसदी ढुलाई का काम हाइवे के जरिए होता है.