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नई दिल्ली : सरकार ने गुरुवार को कहा कि विद्युत उत्पादन के लिए बिजली क्षेत्र में निवेश के लिए निजी क्षेत्र को कई विकल्प उपलब्ध हैं और बिजली संयंत्रों को कोयला आपूर्ति के लिए खदानों की पारदर्शी ई नीलामी होगी।
लोकसभा में आनंदराव आडसुल और अधलराव पाटील शिवाजीराव के प्रश्न के उत्तर में बिजली मंत्री पीयूष गोयल ने कहा कि विद्युत उत्पादन के लिए बिजली क्षेत्र में निवेश के लिए निजी क्षेत्र को कई विकल्प उपलब्ध है जिसमें डिजाइन, निर्माण, वित्त, परिचालन, हस्तांतरण (डीबीएफओटी) और निर्माण, परिचालन, हस्तांतरण (बीओटी) शामिल है।
उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार ने बिजली की खरीद के लिए पूर्व के दिशनिर्देशों में संशोधन करते हुए उक्त दिशानिर्देशों और मॉडल बोली दस्तावेजों को अधिसूचित किया है। बिजली क्षेत्र में 11वीं पंचवर्षीय योजना में निजी क्षेत्र का निवेश 2,83,805 करोड़ रुपये था और 12वीं पंचवर्षीय योजना के पहले दो वषरे में।,17,999 करोड़ रुपये।
गोयल ने कहा कि जिस प्रकार की नीतियां पूर्व में चल रही थीं, उसके कारण न गैस है और ना कोयला। बिजली संयंत्र लगे हुए है लेकिन चलाने के लिए कोयला नहीं है। हमने कुछ पहल की है ताकि गैस उत्पादन हो। इसके साथ कोयला क्षेत्र में हुई गड़बड़ियों के कारण उत्पादन बंद है। उच्चतम न्यायालय के निर्णय के आलोक में हम पारदर्शी ढंग से कोयला खदान की ई नीलामी करेंगे, जिससे कोयला उत्पादन में सुधार हो और संयंत्रों को कोयला मिल सके।