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नई दिल्ली: शिक्षा (Education) जगत में बदलाव की बयार चल पड़ी है. स्कूल स्तर पर कई तरह के बदलाव देखने के बाद अब मेडिकल (Medical) की पढ़ाई को लेकर भी एक बड़ा फैसला आया है. सुप्रीम कोर्ट के आदेशानुसार (Supreme Court Judgement) अब NEET में फेल होने वाले छात्रों को भी मेडिकल की पढ़ाई करने का मौका मिलेगा.
अब NEET के एग्जाम में नाकाम अभ्यर्थी बीडीएस (BDS) यानी दांतों का डॉक्टर (Dentist) बनने के लिए मेडिकल फील्ड (Medical Field) में दाखिला ले सकते हैं. सुप्रीम कोर्ट के एक निर्णय (Supreme Court Judgement) के मुताबिक, मेडिकल बीडीएस के पाठ्यक्रम (BDS Course) में अब नीट फेल भी एडमिशन ले सकते हैं. इस फैसले के पीछे वजह यह है कि देशभर के कई मेडिकल कॉलेज (Medical College) में बीडीएस की सीटें खाली पड़ी हैं. अब सुप्रीम कोर्ट के निर्णय से वे सीटें भरी जाएंगी और छात्रों का भी साल बर्बाद होने से बच जाएगा.
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सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court Judgement) द्वारा वर्ष 2016 में निर्णय लिया गया था कि जो अभ्यर्थी नीट (NEET Aspirants) की परीक्षा में 50 फीसदी से ऊपर नंबर लाएंगे, सिर्फ उनको ही एमबीबीएस (MBBS) और बीडीएस (BDS) में प्रवेश मिल सकेगा. 50 परसेंटाइल से कम स्कोर करने वाले अभ्यर्थियों (Applicants) को किसी भी कोटे के तहत मेडिकल (Medical Quota) में प्रवेश नहीं मिलेगा. इस फैसले की वजह से देश में बीडीएस (BDS) की 7000 सीट खाली पड़ी हैं, जिनको भरने के लिए सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) ने अपना नया निर्णय दिया है. अब नीट फेल छात्र भी बीडीएस में एडमिशन ले सकते हैं.
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