अभी तक पनगढ़िया के इस्तीफा देने के सही कारणों की जानकारी नहीं मिल पाई है. उन्होंने अपने फैसले से पीएमओ को भी अवगत करा दिया है. हालांकि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी फिलहाल असम के बाढ़ ग्रस्त इलाकों के दौरे पर हैं. लिहाजा उनके इस्तीफे पर अंतिम फैसला नहीं हुआ है. अमेरिका की कोलंबिया यूनिवर्सिटी में अध्यापन करने वाले 62 वर्षीय पनगढ़िया को प्रधानमंत्री मोदी ने ही नीति आयोग के पहले उपाध्यक्ष के तौर पर चुना था.
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नई दिल्ली : नीति आयोग के उपाध्यक्ष अरविंद पनगढ़िया ने मंगलवार को अपने पद से इस्तीफा दे दिया है. वह 31 अगस्त तक आयोग को अपनी सेवाएं देंगे. पनगढ़िया ने फिलहाल अध्यापन में वापसी करने की बात कहकर अपने पद से इस्तीफा दिया है. योजना आयोग की जगह नीति आयोग बनने के बाद पनगढ़िया नीति आयोग के पहले उपाध्यक्ष हैं. देश की नीति और विकास प्रक्रिया को नई दिशा देने के लिए मोदी सरकार ने योजना आयोग को खत्म करके नीति आयोग की शुरुआत की थी.
हालांकि अभी तक पनगढ़िया के इस्तीफा देने के सही कारणों की जानकारी नहीं मिल पाई है. उन्होंने अपने फैसले से पीएमओ को भी अवगत करा दिया है. हालांकि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी फिलहाल असम के बाढ़ ग्रस्त इलाकों के दौरे पर हैं. लिहाजा उनके इस्तीफे पर अंतिम फैसला नहीं हुआ है. अमेरिका की कोलंबिया यूनिवर्सिटी में अध्यापन करने वाले 62 वर्षीय पनगढ़िया को प्रधानमंत्री मोदी ने ही नीति आयोग के पहले उपाध्यक्ष के तौर पर चुना था.
पनगढ़िया की पहचान दुनिया के अनुभवी अर्थशास्त्री में होती है. उन्हें पांच जनवरी, 2015 को नीति आयोग का उपाध्यक्ष बनाया गया था. इससे पहले वह एशियाई विकास बैंक के मुख्य अर्थशास्त्री रहे हैं. इसके अलावा वह वर्ल्ड बैंक, अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष, विश्व व्यापार संगठन और अंकटाड में भी काम कर चुके हैं. उन्होंने प्रतिष्ठित प्रिंसटन यूनिवर्सिटी से पीएचडी की डिग्री ली है. अभी तक के जीवन में पनगढ़िया करीब 10 किताबें लिख चुके हैं.