Uddhav Thackeray ने सुप्रीम कोर्ट का फैसला आने के बाद एकनाथ शिंदे का इस्तीफा मांगा. उन्होंने कहा कि शिंदे गुट के लोग गद्दार हैं. ऐसे लोग कैसे सरकार चला सकते हैं. गद्दारों को सवाल पूछने का भी हक नहीं है.
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Uddhav Thackeray Nitish Kumar: बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार गुरुवार को मुंबई पहुंचे. उन्होंने मातोश्री में पूर्व मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे से मुलाकात की. इस दौरान बिहार के उपमुख्यमंत्री और आरजेडी नेता तेजस्वी यादव भी मौजूद रहे. नीतीश और उद्धव ने मुलाकात के बाद प्रेस कॉन्फ्रेंस की. उद्धव ठाकरे ने सुप्रीम कोर्ट का फैसला आने के बाद एकनाथ शिंदे से इस्तीफा मांगा. उन्होंने कहा कि शिंदे गुट के लोग गद्दार हैं. ऐसे लोग कैसे सरकार चला सकते हैं. गद्दारों को सवाल पूछने का भी हक नहीं है.
उद्धव ने कहा कि अगर इस मुख्यमंत्री(शिंदे) और उपमुख्यमंत्री(देवेंद्र फडणवीस) में जरा भी नैतिकता होगी तो इस्तीफा देना चाहिए जैसे मैंने इस्तीफा दिया था. उन्होंने आगे कहा, इस देश में प्रजातंत्र की रक्षा करना हमारा काम है. सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि अगर मैं इस्तीफा नहीं देता तो शायद मैं फिर मुख्यमंत्री बन जाता. मैं मेरे लिए नहीं लड़ रहा, मेरी लड़ाई जनता के लिए, देश के लिए है. राजनीति में मतभेद होते रहते हैं लेकिन हमारा एक मत यह है कि इस देश को बचाना है.
#WATCH | If the current Maharashtra CM and deputy CM have any ethics, then they should resign: Uddhav Thackeray #Maharashtra pic.twitter.com/wqNPrnG36F
— ANI (@ANI) May 11, 2023
वहीं, सीएम नीतीश ने कहा, हम चाहते हैं कि पूरे देश में अधिक से अधिका पार्टियां एकजुट हों, मिलकर हम सब लड़ेंगे. आज जो केंद्र में है वे देश के लिए कोई काम नहीं कर रहे हैं इसलिए देश के हित में हम सब मिलकर लड़ेंगे. अब यह तय होगा कि कब सबकी मीटिंग होगी.
सुप्रीम कोर्ट ने क्या कहा?
सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि अगर उद्धव ठाकरे महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा नहीं देते तो कोर्ट उन्हें बहाल कर सकती थी, लेकिन कोर्ट इस्तीफे को रद्द नहीं कर सकती. शीर्ष अदालत ने यह भी कहा कि राज्यपाल ने यह निष्कर्ष निकाल कर गलती की कि उद्धव ठाकरे सदन में बहुमत खो चुके हैं. सीजीआई डी.वाई. चंद्रचूड़ ने कहा कि अदालत ठाकरे द्वारा सौंपे गए इस्तीफे को रद्द नहीं कर सकती है.
पीठ ने उल्लेख किया कि याचिकाकर्ताओं ने यथास्थिति बहाल करने का तर्क दिया है, हालांकि, ठाकरे ने फ्लोर टेस्ट का सामना नहीं किया. शीर्ष अदालत ने कहा कि राज्यपाल के पास महा विकास अघाड़ी सरकार के विश्वास पर संदेह करने और फ्लोर टेस्ट के लिए बुलाने के लिए कोई तथ्य नहीं है. शीर्ष अदालत ने शिवसेना नेता एकनाथ शिंदे और अन्य विधायकों के विद्रोह के संबंध में महाराष्ट्र में राजनीतिक संकट पर अपना फैसला सुनाया, जिसके कारण उद्धव ठाकरे के नेतृत्व वाली महा विकास अघाड़ी सरकार गिर गई थी.
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