Chanakaya Niti: महिलाओं में ये इच्छाएं पुरुषों से होती हैं ज्यादा, काम-वासना के बारे में भी है ये राय
Advertisement
trendingNow0/india/bihar-jharkhand/bihar1428876

Chanakaya Niti: महिलाओं में ये इच्छाएं पुरुषों से होती हैं ज्यादा, काम-वासना के बारे में भी है ये राय

कई शास्त्रों और ग्रंथों में महिला पुरुष संबंधों के बारे में बताया गया है लेकिन आचार्य चाणक्य के सिद्धांतों को पुरुष-स्त्री संबंधों के बारे में बेहतर तरीके से बताया गया है.

(फाइल फोटो)

Chanakaya Niti: कई शास्त्रों और ग्रंथों में महिला पुरुष संबंधों के बारे में बताया गया है लेकिन आचार्य चाणक्य के सिद्धांतों को पुरुष-स्त्री संबंधों के बारे में बेहतर तरीके से बताया गया है. चाणक्य के नीति शास्त्र में जीवनशैली जीने के ऐसे नीति ज्ञान हैं जिसके वृहद भंडार में गोता लगाकर इंसान बेहतरीन बन सकता है. जो हर उम्र के लोगों के लिए सीखने की चीज है. ऐसे में चाणक्य के नीति शास्त्र के सिद्धांतों को अगर बचपन से ही कोई अपने जीवन में उतार ले तो वह पूरी जिंदगी बेहतर इंसान बनकर जी सकता है. ऐसे में चाणक्य की नीतियों को जीवन में जरूर अपनाना चाहिए. चाणक्य ने साफ और स्पष्ट तौर पर महिला पुरुष संबंधों के बारे में बताया है. इसके साथ ही चाणक्य ने ये भी बताया है कि महिलाओं में पुरुष के मुकाबले कौन सी इच्छा ज्यादा बलवती होती है. 

चाणक्य के बारे में जान लें कि उनके नीति शास्त्र से सिद्धांत सबसे ज्यादा प्रासंगिक हैं. आचार्य चाणक्य के नीति शास्त्र, अर्थशास्त्र, समाज शास्त्र, कूटनीति या राजनीति शास्त्र के सिद्धांत हों इन पर चलकर ही कोई अपने आप को बेहतर बना सकता है, कोई समाज समृद्ध हो सकता है, किसी राष्ट्र का सही निर्माण हो सकता है या फिर दुनिया के अन्य देशों के साथ दूसरे देश के संबंध बेहतर हो सकते हैं. ऐसे में चाणक्य के नीति शास्त्र के सिद्धांतों पर चलकर लोग अपने जीवन को सफल और सुखद बना सकते हैं.  

ऐसे में आचार्य चाणक्य ने अपने नीति शास्त्र में कुछ ऐसी बातें बताई है जिसे कोई भी महिला किसी को नहीं बताना चाहती है. चाणक्य ने अपनी नीति शास्त्र में बताया है कि पुरुषों की तुलना में महिलाएं कैसे ज्यादा भावनाओं के सागर में गोते लगाती हैं. चाणक्य ने स्त्रियों की भूख, लज्जा यानी शर्म, साहस और काम भावना के बारे में जिक्र किया है. 

स्त्रीणां द्विगुण आहारो लज्जा चापि चतुर्गुणा ।
साहसं षड्गुणं चैव कामश्चाष्टगुणः स्मृतः ॥१७॥

भूख और लज्जा
ऐसे में आचार्य चाणक्य की मानें तो महिलाओं में पुरुषों के मुकाबले भूख दोगुनी, लज्जा चार गुणी, साहस 6 गुणा और काम वासना 8 गुण ज्यादा होती है. आचार्य चाणक्य ने इसे महिलाओं की ताकत बताई है. चाणक्य कहते हैं कि महिलाओं में पुरुषों की तुलना में भूख ज्यादा होती है लेकिन उनको सहने की क्षमता भी उनमें ज्यादा होती है. वहीं चाणक्य कहते हैं कि स्त्रियां पुरुषों से 4 गुणा ज्यादा शर्म करती हैं क्योंकि उनको समाज और परिवार की मर्यादा का ख्याल होता है. जो सबसे बेहतरीन गुण है. 

साहस और काम इच्छा 
चाणक्य आगे कहते हैं कि महिलाएं साहस के मामले में पुरुषों की तुलना में 6 गुणा ज्यादा साहसी होती हैं. यही वजह है कि महिलाएं बुरी से बुरी स्थिति में भी टूटती नहीं और हर परिस्थिति का डटकर मुकाबला करती हैं. वहीं चाणक्य बताते हैं कि काम-वासना के मामले में पुरुषों की तुलना में महिलाओं की काम इच्छा 8 गुणा ज्यादा अधिक होती है लेकिन महिलाओं में शर्म और सहनशक्ति दोनों ज्यादा होती है. यही वजह है कि ये उसे उजागर नहीं होने देती हैं. वह धर्म और संस्कारों में बंधकर अपने परिवार को संभालती हैं. 

ये भी पढ़ें- Chanakya Niti: धन की तीन गतियों में दान सबसे महत्वपूर्ण, जानिए क्या कहते हैं दान के बारे में चाणक्य

Trending news