खान ने जलियांवाला बाग आगंतुक पुस्तिका में लिखा कि वक्त आ गया है कि ब्रिटिश सरकार आखिरकार माफी मांगे. 1919 में वैशाखी की पूर्व संध्या पर हुई इस घटना को हमें अवश्य ही कभी नहीं भूलना चाहिए.
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अमृतसर: लंदन के मेयर सादिक खान ने बुधवार को कहा कि ब्रिटिश सरकार को अमृतसर में 1919 में हुए जलियांवाला बाग नरसंहार के लिए माफी मांगनी चाहिए. उन्होंने कहा कि यह एक त्रासदी है, जिसे कभी भुलाया नहीं जा सकता. खान मंगलवार को अमृतसर पहुंचे. उन्होंने जलियांवाला बाग घटना में मारे गए लोगों को श्रद्धांजलि अर्पित की. उन्होंने कहा, ‘‘जलियांवाला बाग जाना विश्वास से परे है. मारे गए लोगों के साथ हमारी संवदेना है.’’खान ने जलियांवाला बाग आगंतुक पुस्तिका में लिखा कि वक्त आ गया है कि ब्रिटिश सरकार आखिरकार माफी मांगे. 1919 में वैशाखी की पूर्व संध्या पर हुई इस घटना को हमें अवश्य ही कभी नहीं भूलना चाहिए.
यह नरसंहार 13 अप्रैल 1919 को हुआ था, जब जनरल डायर ने निहत्थे लोगों पर गोली चलवाई थी. इस घटना में काफी संख्या में लोग मारे गए थे. ब्रिटेन के पूर्व प्रधानमंत्री डेविड कैमरन ने 2013 में जलियांवाला की अपनी यात्रा के दौरान इस घटना की निंदा की थी और इसे ब्रिटिश इतिहास में एक बहुत ही शर्मनाक घटना बताया था. भारत की अपनी प्रथम आधिकारिक यात्रा को संपन्न करते हुए लंदन के मेयर ने बुधवार को सुबह स्वर्ण मंदिर में भी मत्था टेका. उन्होंने स्वर्ण मंदिर परिसर में लंगर में हिस्सा लिया.
शिरोमणि गुरूद्वारा प्रबंधक कमेटी के अधिकारियों ने उन्हें एक सिरोपा भी भेंट किया. उन्होंने कहा कि पिछले 24 घंटे अमृतसर में रहना उनके लिए एक विशेष चीज है. स्वर्ण मंदिर लंदन निवासी हजारों सिखों और दुनिया भर के लाखों सिखों के लिए एक आध्यात्मिक स्थान है. खान ने स्वर्ण मंदिर की आगंतुक पुस्तिका में लिखा, ‘‘...मुझे यादें मुहैया करने के लिए आपका शुक्रिया. ये हमेशा ही मेरे साथ बनी रहेंगी.’’ मंगलवार को पंजाब के मुख्यमंत्री अमरिंदर सिंह ने अमृतसर में लंदन मेयर के लिए एक रात्रिभेाज का आयोजन किया.
गौरतलब है कि भारत के तीन शहरों की यात्रा पर आए खान ने नयी दिल्ली, मुंबई और अमृतसर की यात्रा की ताकि भारत के साथ लंदन के संबंध को मजबूत किया जा सके.
(इनपुट - भाषा)