Budget 2021-22: मोबाइल फोन, चार्जर समेत ये चीजें हुईं महंगी, इन इलेक्ट्रॉनिक आइटम के भी दाम बढ़ना तय
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Budget 2021-22: मोबाइल फोन, चार्जर समेत ये चीजें हुईं महंगी, इन इलेक्ट्रॉनिक आइटम के भी दाम बढ़ना तय

Budget 2021 22: बजट 2021-22 में मोबाइल फोन के स्पेयर पार्ट्स तथा चार्जर पर इम्पोर्ट ड्यूटी बढ़ाने का फैसला किया गया है, इसके बाद मोबाइल फोन की कीमतें बढ़ना तय है.

फाइल फोटो.

नई दिल्ली: बजट 2021-22 (Budget 2021-22) में सरकार ने मोबाइल फोन के स्पेयर पार्ट्स तथा चार्जर पर इम्पोर्ट ड्यूटी बढ़ाने का फैसला किया है. लोकल वैल्यू एडिशन को बढ़ाने के लिए सरकार ने यह कदम उठाया है, इसका असर मोबाइल की कीमतों (Mobile Price) पर भी पड़ सकता है. चार्जर पर Import Duty बढ़ने से मोबाइल फोन महंगे हो सकते हैं.

मैन्युफैक्चरिंग बढ़ाने पर जोर

वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण (Nirmala Sitharaman) ने वित्त वर्ष 2021-22 का आम बजट (Union Budget 2021-22) पेश करते हुए कस्टम ड्यूटी (Costoms duty) में 400 रियायतों की समीक्षा की घोषणा की. इनमें मोबाइल स्पेयर पार्ट्स सेक्शन भी शामिल है. सीतारमण ने कहा, 'देश में ही मैन्युफैक्चरिंग बढ़ाने के लिए हम मोबाइल चार्जर के कुछ हिस्सों और मोबाइल फोन के कुछ सब-पार्ट्स पर छूट को वापस ले रहे हैं. इसके अलावा मोबाइल के कुछ पार्ट्स पर आयात शुल्क (Import Duty) जीरो की जगह 2.5 प्रतिशत हो जाएगा.'

इन पर 1 अप्रैल से क्सटम ड्यूटी

उन्होंन कहा कि कस्टम ड्यूटी पॉलिसी का दोहरा उद्देश्य डोमेस्टिक मैन्युफैक्चरिंग को प्रोत्साहन देना और भारत को वैश्विक मूल्य श्रृंखला से जोड़ना तथा निर्यात को बेहतर करना होना चाहिए. सीतारमण ने कहा, ‘अब हमारा जोर कच्चे माल तक आसान पहुंच तथा मूल्यवर्धन का निर्यात है.’ सरकार ने प्रिंटेड सर्किट बोर्ड असेंबली (PCBA) यानी मदरबोर्ड, कैमरा मॉड्यूल, कनेक्टर, लिथियम आयन बैटरी केमैन्युफैक्चरिंग में काम आने वाले स्पेयर पार्ट्स,  सब-पार्ट्स और बैटरी पैक पर एक अप्रैल से क्सटम ड्यूटी लगाने का प्रस्ताव किया है.

2 फरवरी से 10 प्रतिशत ड्यूटी

वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण (Nirmala Sitharaman) ने मोबाइल चार्जरों में इस्तेमाल होने स्पेयर पार्ट्स पर ड्यूटी छूट वापस लेने की घोषणा की है. इन पर दो फरवरी से 10 प्रतिशत ड्यूटी लगाई जाएगी. काउंटरपॉइंट रिसर्च के एसोसिएट निदेशक तरुण पाठक ने कहा कि इससे थोड़े समय के लिए कीमतों में वृद्धि हो सकती है. इनमें से ज्यादातर सब-पार्ट्स के स्थानीय आपूर्तिकर्ता मौजूद हैं. इंडियन सेल्युलर एंड इलेक्ट्रॉनिक्स एसोसिएशन के चेयरमैन पंकज महेंद्रू ने कहा कि मोबाइल और इलेक्ट्रॉनिक्स क्षेत्र को शुल्क छूट हटाने से बचाया जाना चाहिए था.

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महेंद्रू ने कहा कि जीरो कस्टम ड्यूटी (Costum Duty) का मतलब जीरो टैक्सेशन से नहीं है. इन पर 18 प्रतिशत का माल एवं सेवा कर (GST) लगता है. उन्होंने कहा कि यह वृद्धि उद्योग के साथ हुए विचार-विमर्श के उलट है. उन्होंने कहा कि चरणबद्ध विनिर्माण कार्यक्रम (PMP) ठीक से काम नहीं कर रहा है और निर्यात भी कमजोर है. इसी वजह से सरकार को उत्पादन से जुड़े प्रोत्साहन (PLI) की योजना लानी पड़ी है.

ये इलेक्ट्रोनिक सामान महंगे

बजट 2021 (Budget 2021) में किये गये प्रस्तावों से घरों में उपयोग होने वाले रेफ्रिजरेटर, एलईडी लाइट और मोबाइल फोन जैसे सामान भी महंगे हो जाएंगे. वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने बजट में इंपोर्टिड स्पेयर पार्ट्स पर कस्टम ड्यूटी बढ़ाये जाने का प्रस्ताव किया. हालांकि सोना और चांदी के आयात पर कस्टम ड्यूटी में बदलाव किये जाने से ये महंगे मेटल सस्ते होंगे. बजट प्रस्ताव के कारण महंगे होने वाले सामानों में रेफ्रिजरेटर और एयर कंडीशनर के लिये कम्प्रेशर और प्रिंटेड सर्किट बोर्ड जैसे हिस्से-पुर्जे, कच्ची रेशम और कपास, सौर इनवर्टर और लालटेन, वाहनों के विंडस्क्रीन, वाइपर, सिग्नल के उपकरण, पीसीबीए, कैमरा, मोड्यूल, कनेक्टर, बैक कवर शामिल हैं.

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