Covid 19 Test: वैज्ञानिकों ने खोज निकाला कोरोना वायरस की जांच का अनोखा तरीका
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Covid 19 Test: वैज्ञानिकों ने खोज निकाला कोरोना वायरस की जांच का अनोखा तरीका

Nanoparticle COVID-19 test: RT–PCR और एंटीजेन टेस्ट की कमियों को देखते हुए यूके में न्यूकैसल विश्वविद्यालय के शोधकर्ता ने नैनोपार्टिकल पर आधारित टेस्ट का इजाद किया है.

Covid 19 Test: वैज्ञानिकों ने खोज निकाला कोरोना वायरस की जांच का अनोखा तरीका

Nanoparticle based rapid COVID-19 test: कोविड 19 के जांच कराने का गोल्ड स्टैंडर्ड भारत में RT–PCR टेस्ट को ही माना जाता है. RT–PCR टेस्ट सेंसिटिव और सटीक तो होता है लेकिन इसके नतीजे मिलने में 1 से 2 दिन का समय लग जाता है. साथ ही यह टेस्ट महंगा भी होता है. इस टेस्ट को पूरा करने में एक स्पेशल लैब के उपकरण और प्रशिक्षित स्टॉफ की भी जरूरत पड़ती है. इन चीजों को ध्यान में रखते हुए इस कोरोना टेस्ट का इजाद किया गया है.

एंटीजेन टेस्ट भी ज्यादा प्रभावी नहीं

RT–PCR टेस्ट के मुकाबले रैपिड एंटीजेन टेस्ट के परिणाम जल्दी मिल जाते हैं. इसकी जांच में 15 से 30 मिनट लगते हैं लेकिन इस जांच प्रक्रिया के नतीजों को सटीक नहीं माना जाता. यही कारण है कि एंटीजेन टेस्ट कराने वालों को कभी-कभी गलत नेगेटिव रिपोर्ट मिल जाती है.

जानें कोरोना टेस्ट के नए तरीके के बारे में

RT–PCR और एंटीजेन टेस्ट की कमियों को देखते हुए यूके में न्यूकैसल विश्वविद्यालय के शोधकर्ता ने नैनोपार्टिकल पर आधारित टेस्ट का इजाद किया है. यह एक कम लागत वाला, तेज, मजबूत और अत्यधिक संवेदनशील COVID-19 टेस्ट का तरीका है. ये एंटीबॉडी के बजाय नैनो-एमआईपी का उपयोग करता है. 

अधिक संवेदनशील और टिकाऊ

वैज्ञानिकों ने इसे अधिक संवेदनशील और टिकाऊ रैपिड COVID-19 टेस्ट बताया है. इसमें SARS-CoV-2 वायरस का पता लगाने के लिए एंटीबॉडी के बजाय पॉलिमर नैनोपार्टिकल का इस्तेमाल किया जाता है.

अभी और जांचना-परखना जरूरी

इस टेस्ट के बारे में बताया गया है कि यह केवल 15 मिनट में टेस्ट का रिजल्ट दे देता है. शुरुआती रिजल्ट्स में ऐसा पाया गया कि यह एक कॉमर्शियल रैपिड एंटीजेन परीक्षण की तुलना में SARS-CoV-2 के 6,000 गुना कम मात्रा का पता भी लगा सकता है. शोधकर्ताओं ने कहा है की इस टेस्ट को रोगी नमूनों पर परीक्षण किया जाना चाहिए.

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