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नई दिल्ली: केंद्रीय शिक्षा मंत्री धर्मेन्द्र प्रधान (Dharmendra Pradhan) ने कहा कि एक स्टूडेंट द्वारा सीखी गई भाषाओं के आधार पर उसका आंकलन कर उस छात्र को क्रेडिट प्वाइंट दिए जाने की व्यवस्था बनाई जानी चाहिए. प्रधान ने ‘भाषा संगम’ मोबाइल ऐप(Bhasha Sangam mobile app) आधारित क्विज की शुरुआत करते हुए यह बात कही. भाषा संगम मोबाइल ऐपयूजर्स को 22 भाषाओं में सामान्य उपयोग के वाक्य सीखने में मदद करेगी.
शिक्षा मंत्री धर्मेन्द्र प्रधान (Dharmendra Pradhan) ने कहा कि भाषा संगम (Bhasha Sangam) पहल में 22 भाषाओं के 100 वाक्यों को ‘दीक्षा प्लेटफार्म’ पर अपलोड किया गया है जिसमें वीडियो, ऑडियो के साथ भारतीय संकेत भाषाओं में भी कंटेंट है. उन्होंने कहा कि इसे मोबाइल ऐप(Mobile App) के जरिए पेश किया जा रहा है ताकि घर बैठे ही 22 भाषाओं में बोलचाल के वाक्यों की अभ्यास किया जा सके. मातृभाषा सहित अन्य भाषा सीखने के महत्व को बताते हुए शिक्षा मंत्री ने कहा, ‘कोई भी स्टूडेंट कितनी भाषाएं सीखता है, इसका एग्जाम के जरिए आंकलन किया जाए और उसे इसके संबंध में क्रेडिट प्वाइंट दिए जाने की व्यवस्था भी हो.’
धर्मेंद्र प्रधान ने कहा कि हमारे देश में काफी संख्या में भाषाएं, लोक परंपराएं, व्यंजन आदि हैं और इन विविधताओं के साथ हम एक हैं. उन्होंने कहा कि अपनी मातृभाषा, स्थानीय भाषा और अपनी समझ की भाषा में स्कूलों में पढ़ाई करने से विषयों के बारे में अच्छी समझ बनती है. केंद्र सरकार की ‘एक भारत, श्रेष्ठ भारत’ पहल का जिक्र करते हुए उन्होंने कहा कि आजादी के बाद सरदार पटेल के नेतृत्व में 1947 में पूरा देश एक दूसरे से जुड़ गया था लेकिन एक प्रांत कई विषयों पर छूट गया था.
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शिक्षा मंत्री ने कहा कि अगस्त 2019 में जम्मू कश्मीर को भी योजनाओं और सुविधाओं के लिहाज से पूरे देश के साथ जोड़ दिया गया. उल्लेखनीय है कि भाषा संगम के तहत 22 भाषाओं में 100 वाक्य एनसीईआरटी के सहयोग से तैयार किये गए हैं जबकि भाषा संगम मोबाइल ऐपउच्च शिक्षा विभाग की पहल है. मोबाइल ऐपआधारित क्विज कार्यक्रम में 10 हजार प्रश्न हैं जो धरोहर, संस्कृति, साहित्य आदि क्षेत्रों से जुड़े हैं और इसे नवोन्मेष प्रकोष्ठ ने तैयार किया है.
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